ई-मेल संपर्क / E-Mail Contact

इन संदेशों को ई-मेल से प्राप्त करने के लिए अपना ई-मेल पता इस ई-मेल पर भेजें / To Receive these messages by e-mail, please send your e-mail id to: rozkiroti@gmail.com

रविवार, 4 जुलाई 2010

स्वतंत्रता का उत्तरदायित्व

जो लोग उसका उचित उपयोग करना नहीं जानते उनके हाथों में स्वतंत्रता खतरनाक होती है। यही कारण है कि मुजरिमों को कैदखानों में कांटेदार तारों, लोहे की सलाखों और ऊंची दीवारों के बाड़े के अन्दर बांध कर रखा जाता है। एक छोटी सी आग सूखे जंगल को धधकती हुई भयानक भट्टी बना देती है। यदि स्वतंत्रता के नियम न हों तो उससे भारी गड़बड़ी होती है।

मसीही जीवन इसका सबसे अच्छा उदाहरण है। मसीह के विश्वासी व्यवस्था के श्राप, दंड, ग्लानि और भय से मुक्त हैं। मसीही जीवन में भय, चिन्ता और दोष के स्थान पर शान्ति, क्षमा और स्वतंत्रता मिलती है। जो आत्मा की गहराईयों में स्वतंत्र है उससे अधिक स्वतंत्र और कौन होगा? लेकिन यहीं आकर हम अक्सर हार जाते हैं। हम स्वतंत्रता के सुख को स्वार्थी अभिलाशाओं की पूर्ति के लिये प्रयोग करने लगते हैं, परमेश्वर ने जो हमें एक ज़िम्मेदारी के रूप में सौंपा है हम उसे अपनी मिलकियत समझने लगते हैं। हमारी जीवन शैली स्वयं की तृप्ति की हो जाती है, विशेषतः धनी समाज में।

स्वतंत्रता का सही उपयोग है प्रेम में होकर विश्वास द्वारा एक दूसरे की सेवा करना (गलतियों ५:६, १३)। जब हम पवित्र आत्मा पर निर्भर होकर अपने गुणों और सामर्थ को परमेश्वर से प्रेम करने और दूसरों की सहायता करने में लगाते हैं, तो हमारे शरीर की विनाशकारी पृवर्तियां परमेश्वर द्वारा नियंत्रित करके रोक दी जातीं हैं (गलतियों ५:१६-२१)। इसलिये हम अपनी स्वतंत्रता को सदा सकारत्मक कार्यों मे दूसरों को बनाने के लिये करें, न कि नाशकारी कार्यों के लिये।

आग के समान, अनियंत्रित स्वतंत्रता खतरनाक है, किन्तु जब नियंत्रित होती है तो सब के लिये आशीश का कारण होती है। - डेनिस डी हॉन


स्वतंत्रता हमें वह करने का अधिकार नहीं देती जो हमें भाता है, वरन वह करने की ज़िम्मेदारी देती है जो परमेश्वर को भाता है।


बाइबल पाठ: गलतियों ५:१-६, १६-२१


हे भाइयों, तुम स्‍वतंत्र होने के लिये बुलाए गए हो परन्‍तु ऐसा न हो, कि यह स्‍वतंत्रता शारीरिक कामों के लिये अवसर बने, वरन प्रेम से एक दूसरे के दास बनो। - गलतियों ५:१३


एक साल में बाइबल:
  • अय्युब २८, २९
  • प्रेरितों के काम १३:१-२५

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें