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रविवार, 7 जून 2020

सत्य



     कुछ वर्ष पहले मैं एक ऐसे विवाह समारोह में सम्मिलित हुआ जहाँ विवाह दो भिन्न देशों के लोगों के मध्य था। इस प्रकार का सांस्कृतिक मेल-मिलाप मनोहर हो सकता है, परन्तु इस समारोह में मैंने देखा कि मसीही परम्पराओं के साथ अनेकों देवी-देवताओं की उपासना करने वाले धर्म की विधियों को मिश्रित किया जा रहा है।

     परमेश्वर के वचन बाइबल में परमेश्वर के भविष्यद्वक्ता सपन्याह ने एकमात्र सच्चे जीवते परमेश्वर में विश्वास के साथ अन्य धर्मों को मिश्रित करने (जिसे ‘syncretism’ या ‘समन्वयता’ कहा जाता है) की स्पष्ट निंदा की। सपन्याह के समय में यहूदा के लोग सच्चे परमेश्वर की आराधना तो करते थे, परन्तु साथ ही मोलेक देवता पर भी भरोसा करते थे (सपन्याह 1:5)। सपन्याह ने उन के द्वारा मूर्तिपूजकों की संस्कृति से समझौता करने, उन के रीति-रिवाज़ अपना लेने का वर्णन किया, और उन्हें सचेत किया कि उन के इस व्यवहार के कारण परमेश्वर यहूदा के लोगों को उन के देश से निर्वासित कर देगा।

     परन्तु फिर भी परमेश्वर ने कभी अपने लोगों से प्रेम करना नहीं छोड़ा। परमेश्वर ने जिस न्याय और दण्ड के विषय उन्हें आगाह किया, वह उन्हें वापस उस की ओर मुड़ने की आवश्यकता के लिए जागरूक करने के लिए था। इस लिए परमेश्वर ने सपन्याह में हो कर अपने लोगों से कहा कि “धर्म को ढूँढो,नम्रता को ढूँढो” (2:3)। फिर प्रभु ने उन्हें कोमल शब्दों में प्रतिज्ञा दी कि भविष्य में वे पुनःस्थापित भी किए जाएंगे: “उसी समय मैं तुम्हें ले जाऊंगा, और उसी समय मैं तुम्हें इकट्ठा करूंगा; और जब मैं तुम्हारे साम्हने तुम्हारे बंधुओं को लौटा लाऊंगा, तब पृथ्वी की सारी जातियों के बीच में तुम्हारी कीर्त्ति और प्रशंसा फैला दूंगा, यहोवा का यही वचन है” (3:20)।

     जिस विवाह समारोह में मैं सम्मिलित हुआ था, वहाँ के प्रत्यक्ष दिखने वाली समन्वयता की निंदा करना तो सरल है। परन्तु वास्तविकता यही है कि हम सभी परमेश्वर के सत्यों में अपनी संस्कृति की मान्यताओं एवं परम्पराओं की मिलावट को करते रहते हैं। हमें आवश्यकता है कि हम पवित्र आत्मा की अगुवाई में अपनी मान्यताओं और धारणाओं की जांच परमेश्वर के वचन के सत्य के साथ करें, और फिर उस के अनुसार सत्य में दृढ़ता किन्तु प्रेम के साथ स्थापित हो कर बने रहें।

     हमारा स्वर्गीय परमेश्वर पिता उन का खोजी है जो आत्मा और सच्चाई के साथ उस की आराधना करते हैं (यूहन्ना 4:23-24)। - टिम गुस्ताफसन

परमेश्वर सदा क्षमा करने और पुनःस्थापित करने के लिए तैयार रहता है।

परन्तु वह समय आता है, वरन अब भी है जिस में सच्चे भक्त पिता का भजन आत्मा और सच्चाई से करेंगे, क्योंकि पिता अपने लिये ऐसे ही भजन करने वालों को ढूंढ़ता है। परमेश्वर आत्मा है, और अवश्य है कि उसके भजन करने वाले आत्मा और सच्चाई से भजन करें। - यूहन्ना 4:23-24

बाइबल पाठ: सपन्याह 1:1-6; 2:1-3
सपन्याह 1:1 आमोन के पुत्र यहूदा के राजा योशिय्याह के दिनों में, सपन्याह के पास जो हिजकिय्याह के पुत्र अमर्याह का परपोता और गदल्याह का पोता और कूशी का पुत्र था, यहोवा का यह वचन पहुंचा:
सपन्याह 1:2 मैं धरती के ऊपर से सब का अन्त कर दूंगा, यहोवा की यही वाणी है।
सपन्याह 1:3 मैं मनुष्य और पशु दोनों का अन्त कर दूंगा; मैं आकाश के पक्षियों और समुद्र की मछलियों का, और दुष्टों समेत उनकी रखी हुई ठोकरों के कारण का भी अन्त कर दूंगा; मैं मनुष्य जाति को भी धरती पर से नाश कर डालूंगा, यहोवा की यही वाणी है।
सपन्याह 1:4 मैं यहूदा पर और यरूशलेम के सब रहने वालों पर हाथ उठाऊंगा, और इस स्थान में बाल के बचे हुओं को और याजकों समेत देवताओं के पुजारियों के नाम को नाश कर दूंगा।
सपन्याह 1:5 जो लोग अपने अपने घर की छत पर आकाश के गण को दण्डवत करते हैं, और जो लोग दण्डवत करते हुए यहोवा की सेवा करने की शपथ खाते हैं; और अपने मोलेक की भी शपथ खाते हैं;
सपन्याह 1:6 और जो यहोवा के पीछे चलने से लौट गए हैं, और जिन्होंने न तो यहोवा को ढूंढ़ा, और न उसकी खोज में लगे, उन को भी मैं सत्यानाश कर डालूंगा।
सपन्याह 2:1 हे निर्लज्ज जाति के लोगो, इकट्ठे हो!
सपन्याह 2:2 इस से पहिले कि दण्ड की आज्ञा पूरी हो और बचाव का दिन भूसी के समान निकले, और यहोवा का भड़कता हुआ क्रोध तुम पर आ पड़े, और यहोवा के क्रोध का दिन तुम पर आए, तुम इकट्ठे हो।
सपन्याह 2:3 हे पृथ्वी के सब नम्र लोगों, हे यहोवा के नियम के मानने वालों, उसको ढूंढ़ते रहो; धर्म से ढूंढ़ो, नम्रता से ढूंढ़ो; सम्भव है तुम यहोवा के क्रोध के दिन में शरण पाओ।   

एक साल में बाइबल: 
  • 2 इतिहास 28-29
  • यूहन्ना 17