शनिवार, 3 अगस्त 2013

प्रार्थना

   कभी कभी मैं अपनी प्रार्थनाओं से शर्मिंदा होती हूँ। बहुत बार मैं अपने आप को प्रार्थना में बुद्धिहीन और व्यर्थ वाक्यांशों का प्रयोग करते हुए पाती हूँ, ना कि परमेश्वर पिता के साथ एक सार्थक और विचारपूर्ण संवाद करते हुए। ऐसा ही एक व्यर्थ वाक्यांश है, "प्रभु, मेरे साथ बने रहिए" जिसका बुद्धिहीनता के साथ प्रयोग संभवतः परमेश्वर पिता को भी नहीं भाता होगा, क्योंकि मेरे माँगने से पहले ही उसने अपने जीवते वचन के द्वारा मुझे और अन्य सभी मसीही विश्वासियों को बारंबार यह आशवासन दिया है कि वह हमें कभी नहीं छोड़ेगा और कभी नहीं त्यागेगा।

   परमेश्वर ने यह प्रतिज्ञा यहोशु को दी जब मूसा के देहांत के बाद यहोशु को इस्त्राएलियों का नेतृत्व करके उन्हें वाचा के देश में ले जाकर बसाना था, और वह इस बड़ी जिम्मेदारी से घबरा रहा था (यहोशु 1:5)। नए नियम में आकर इब्रानियों की पत्री के लेखक ने इस प्रतिज्ञा को सभी मसीही विश्वासियों के लिए लागू बताया: "...क्योंकि उसने आप ही कहा है, कि मैं तुझे कभी न छोडूंगा, और न कभी तुझे त्यागूंगा" (इब्रानियों 13:5)। यहोशु और इब्रानियों, दोनों ही स्थानों पर परमेश्वर ने जब यह प्रतिज्ञा बान्धी तो संदर्भ बताता है कि परमेश्वर ने ऐसा अपने लोगों द्वारा उसकी इच्छा और आज्ञापूर्ति के समयों में साथ बने रहने और उसके द्वारा सौंपे गए कार्य को भलि-भांति पूरा करने की सामर्थ देने के संदर्भ में कहा है। परमेश्वर की यह प्रतिज्ञा लोगों के मन-मानी करने और उस मन-मानी में परमेश्वर के भी उनके साथ बने रहने का आश्वासन नहीं है। जबकि मैं जब प्रार्थना में परमेश्वर से उसकी उपस्थिति अपने साथ माँगती हूँ तो वह अधिकतर मेरी अपनी मन-मानी करने में उसकी सुरक्षा और सहायता उपलब्ध होने के संदर्भ में होती है। एक प्रेमी और धैर्यवान पिता के समान परमेश्वर हमें कभी संसार और शैतान के खतरों में अकेला नहीं छोड़ता, लेकिन वह हमें मन-मानी करने की छूट, या हमारी उस मन-मानी को नज़रंदाज़ करने का आश्वासन भी नहीं देता है।

   संभवतः हम मसीही विश्वासियों के लिए एक बेहतर प्रार्थना कुछ इस प्रकार की होगी: "प्रभु, मैं आपका धन्यवाद करता हूँ मेरे अन्दर वास करने वाली आपकी पवित्र आत्मा के लिए जो मुझे आपके मार्गों में ले चलने और आपकी इच्छा पूरी करने की अगुवाई करने में सक्षम और तत्पर है। प्रभु मुझे सामर्थ दें कि मैं आपकी पवित्र आत्मा के चलाए चलूँ, आपकी इच्छा को पूरी करूँ। ऐसा ना हो कि मैं आपको ऐसे स्थानों पर लेकर जाने वाला बनूँ जहाँ आप जाना नहीं चाहते और ना ही आपकी इच्छापूर्ति की सामर्थ की बजाए आपसे अपनी मन-मर्जी करने की सामर्थ की लालसा रखूँ। मुझे नम्रता के साथ आपका आज्ञाकारी बने रहने वाला बनाएं।"

   जब हम परमेश्वर की इच्छा को पूरा कर रहे होंगे तो हमारे बिना कहे ही वह ना केवल हमारे साथ बना रहेगा, वरन हमें सामर्थ और मार्गदर्शन भी देता रहेगा। यदि हम उसकी इच्छा के अनुसार जीवन व्यतीत नहीं कर रहे हैं तो व्यर्थ प्रार्थनाएं करने की बजाए भला होगा कि हम उससे इस बात के लिए क्षमा माँगें, अपना मार्ग ठीक करें और उसके दिखाए मार्ग पर चलने वाले बनें जिससे उसकी सामर्थ और सहायता हमारे जीवनों में विदित हो। - जूली ऐकैरमैन लिंक


हमारी प्रार्थनाएं व्यर्थ नहीं वरन सदा परमेश्वर की इच्छा के प्रति संवेदनशील और व्यावाहरिक रहें।

तेरे जीवन भर कोई तेरे साम्हने ठहर न सकेगा; जैसे मैं मूसा के संग रहा वैसे ही तेरे संग भी रहूंगा; और न तो मैं तुझे धोखा दूंगा, और न तुझ को छोडूंगा। - यहोशु 1:5

बाइबल पाठ: यहोशु 1:1-9
Joshua 1:1 यहोवा के दास मूसा की मृत्यु के बाद यहोवा ने उसके सेवक यहोशू से जो नून का पुत्र था कहा,
Joshua 1:2 मेरा दास मूसा मर गया है; सो अब तू उठ, कमर बान्ध, और इस सारी प्रजा समेत यरदन पार हो कर उस देश को जा जिसे मैं उन को अर्थात इस्राएलियों को देता हूं।
Joshua 1:3 उस वचन के अनुसार जो मैं ने मूसा से कहा, अर्थात जिस जिस स्थान पर तुम पांव धरोगे वह सब मैं तुम्हे दे देता हूं।
Joshua 1:4 जंगल और उस लबानोन से ले कर परात महानद तक, और सूर्यास्त की ओर महासमुद्र तक हित्तियों का सारा देश तुम्हारा भाग ठहरेगा।
Joshua 1:5 तेरे जीवन भर कोई तेरे साम्हने ठहर न सकेगा; जैसे मैं मूसा के संग रहा वैसे ही तेरे संग भी रहूंगा; और न तो मैं तुझे धोखा दूंगा, और न तुझ को छोडूंगा।
Joshua 1:6 इसलिये हियाव बान्धकर दृढ़ हो जा; क्योंकि जिस देश के देने की शपथ मैं ने इन लोगों के पूर्वजों से खाई थी उसका अधिकारी तू इन्हें करेगा।
Joshua 1:7 इतना हो कि तू हियाव बान्धकर और बहुत दृढ़ हो कर जो व्यवस्था मेरे दास मूसा ने तुझे दी है उन सब के अनुसार करने में चौकसी करना; और उस से न तो दाहिने मुड़ना और न बांए, तब जहां जहां तू जाएगा वहां वहां तेरा काम सफल होगा।
Joshua 1:8 व्यवस्था की यह पुस्तक तेरे चित्त से कभी न उतरने पाए, इसी में दिन रात ध्यान दिए रहना, इसलिये कि जो कुछ उस में लिखा है उसके अनुसार करने की तू चौकसी करे; क्योंकि ऐसा ही करने से तेरे सब काम सफल होंगे, और तू प्रभावशाली होगा।
Joshua 1:9 क्या मैं ने तुझे आज्ञा नहीं दी? हियाव बान्धकर दृढ़ हो जा; भय न खा, और तेरा मन कच्चा न हो; क्योंकि जहां जहां तू जाएगा वहां वहां तेरा परमेश्वर यहोवा तेरे संग रहेगा।

एक साल में बाइबल: 
  • भजन 63-65 
  • रोमियों 6