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गुरुवार, 7 अगस्त 2014

विस्मयकारी सृष्टि


   अगस्त 2011 में अमेरीकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा ने अंतरिक्ष में स्थित हबल दूरबीन से लिए गए चित्रों को मिलाकर बनाया गया एक संयुक्त चित्र प्रकाशित किया, जिसे देखने वाले लोगों के चेहरों पर एक मुस्कुराहट आ गई। चित्र में दो नक्षत्र समूहों को आपस में टकराना आरंभ करते हुए दिखाया गया है, और यह टकराव की स्थिति एक अन्तरिक्षीय विस्मयबोधक चिन्ह (!) के समान दिखाई देती है। जो नवीनतम गणना मैंने पढ़ी है, उसके अनुसार अन्तरिक्ष में लगभग 100 अरब नक्षत्र समूह हैं और प्रत्येक नक्षत्र समूह सैकड़ों अरब तारों से मिलकर बना है, तथा नए नक्षत्र समूह अभी भी खोजे जा रहे हैं।

   जब मैंने वह अन्तरिक्षीय विस्मयबोधक चिन्ह वाले चित्र को देखा, तो मेरा ध्यान हमारे विस्मयकारी सृष्टिकर्ता की ओर गया, आकाशमण्डल जिसकी महिमा का वर्णन कर रहा है (भजन 19:1), किंतु वह तो अपने बनाए आकाशमण्डल से भी बढ़कर है। जब राजा सुलेमान परमेश्वर की उपस्थिति के लिए मन्दिर बनवा चुका, तो परमेश्वर कि महानता को स्मरण कर के उसने प्रार्थना में कहा, "क्या परमेश्वर सचमुच पृथ्वी पर वास करेगा, स्वर्ग में वरन सब से ऊंचे स्वर्ग में भी तू नहीं समाता, फिर मेरे बनाए हुए इस भवन में क्योंकर समाएगा" (1 राजा 8:27)। राजा सुलेमान को एहसास हुआ कि जब परमेश्वर की उपस्थिति स्वर्ग में भी सीमित नहीं रह सकती तो पृथ्वी पर बने पत्थर के एक मन्दिर में क्योंकर सीमित हो सकती है?

   हमारे सीमित और नश्वर मन-मस्तिष्क के समझ पाने की क्षमता से कहीं कहीं अधिक बढ़कर प्रभु परमेश्वर की हस्ती है, लेकिन फिर भी उसने हमारे लिए यह संभव किया है कि हम उसे प्रभु यीशु में होकर जान सकें, जिसे उसने हमारे पापों की क्षमा और उद्धार के लिए इस संसार में मरने और फिर मृतकों में से पुनः जी उठने के लिए भेजा है। जब हम प्रभु यीशु पर विश्वास कर के अपने पापों से पश्चाताप करते हैं तथा अपना जीवन उसे समर्पित करते हैं, हमारे जीवन भी उसकी महिमा करने वाली उसकी विस्मयकारी सृष्टि का एक भाग बन जाते हैं। - एनी सेटास


सृष्टि में हम परमेश्वर की हस्तकला, और पापों से हमारे छुटकारे में हम उसके हृदय को देखते हैं।

आकाश ईश्वर की महिमा वर्णन कर रहा है; और आकशमण्डल उसकी हस्तकला को प्रगट कर रहा है। - भजन 19:1

बाइबल पाठ: 1 राजा 8:22-30
1 Kings 8:22 तब सुलैमान इस्राएल की पूरी सभा के देखते यहोवा की वेदी के साम्हने खड़ा हुआ, और अपने हाथ स्वर्ग की ओर फैलाकर कहा, हे यहोवा! 
1 Kings 8:23 हे इस्राएल के परमेश्वर! तेरे समान न तो ऊपर स्वर्ग में, और न नीचे पृथ्वी पर कोई ईश्वर है: तेरे जो दास अपने सम्पूर्ण मन से अपने को तेरे सम्मुख जानकर चलते हैं, उनके लिये तू अपनी वाचा पूरी करता, और करुणा करता रहता है। 
1 Kings 8:24 जो वचन तू ने मेरे पिता दाऊद को दिया था, उसका तू ने पालन किया है, जैसा तू ने अपने मुंह से कहा था, वैसा ही अपने हाथ से उसको पूरा किया है, जैसा आज है। 
1 Kings 8:25 इसलिये अब हे इस्राएल के परमेश्वर यहोवा! इस वचन को भी पूरा कर, जो तू ने अपने दास मेरे पिता दाऊद को दिया था, कि तेरे कुल में, मेरे साम्हने इस्राएल की गद्दी पर विराजने वाले सदैव बने रहेंगे: इतना हो कि जैसे तू स्वयं मुझे सम्मुख जानकर चलता रहा, वैसे ही तेरे वंश के लोग अपनी चालचलन में ऐसी ही चौकसी करें। 
1 Kings 8:26 इसलिये अब हे इस्राएल के परमेश्वर अपना जो वचन तू ने अपने दास मेरे पिता दाऊद को दिया था उसे सच्चा सिद्ध कर। 
1 Kings 8:27 क्या परमेश्वर सचमुच पृथ्वी पर वास करेगा, स्वर्ग में वरन सब से ऊंचे स्वर्ग में भी तू नहीं समाता, फिर मेरे बनाए हुए इस भवन में क्योंकर समाएगा। 
1 Kings 8:28 तौभी हे मेरे परमेश्वर यहोवा! अपने दास की प्रार्थना और गिड़गिड़ाहट की ओर कान लगाकर, मेरी चिल्लाहट और यह प्रार्थना सुन! जो मैं आज तेरे साम्हने कर रहा हूँ; 
1 Kings 8:29 कि तेरी आंख इस भवन की ओर अर्थात इसी स्थान की ओर जिसके विषय तू ने कहा है, कि मेरा नाम वहां रहेगा, रात दिन खुली रहें: और जो प्रार्थना तेरा दास इस स्थान की ओर करे, उसे तू सुन ले। 
1 Kings 8:30 और तू अपने दास, और अपनी प्रजा इस्राएल की प्रार्थना जिस को वे इस स्थान की ओर गिड़गिड़ा के करें उसे सुनना, वरन स्वर्ग में से जो तेरा निवासस्थान है सुन लेना, और सुनकर क्षमा करना।

एक साल में बाइबल: 
  • यशायाह 34-36


बुधवार, 6 अगस्त 2014

सदा


   मैं "सदा" तथा "कभी नहीं" शब्दों को बहुत पसन्द करता हूँ। इन दोनों में कितनी आशा निहित है! मैं तो यही चाहूँगा कि मैं सदा ही आनन्दित रहूँगा और जीवन मुझे धोखा कभी नहीं दे, परन्तु वास्तविकता यही है कि इस शरीर में मैं सदा ही आनन्दित नहीं रहूँगा, और जिन बातों के कभी नहीं होने की मैं इच्छा रखता हूँ, वे घटित भी हो सकती हैं। इसलिए, ये शब्द सुनने में चाहे जितने अच्छे लगें, वे अपने में निहित संभावनाओं की पूर्ति स्वतः ही करने की क्षमता नहीं रखते - उन संभावनाओं की पूर्ति तो वह करवा सकता है जो इस समस्त सृष्टि का सृष्टिकर्ता है तथा सब कुछ को नियंत्रित करता है, सारे संसार के सभी लोगों के लिए सेंत-मेंत पाप क्षमा और उद्धार का मार्ग देने वाला है, अर्थात प्रभु यीशु।

   प्रभु यीशु के स्वर्गारोहण के समय संसार में अकेले रह जाने को लेकर घबराए हुए अपने चेलों को प्रभु ने आश्वस्त किया, "...देखो, मैं जगत के अन्‍त तक सदैव तुम्हारे संग हूं" (मत्ती 28:20)। इब्रानियों की पत्री का लेखक अपने पाठकों को स्मरण दिलाता है कि प्रभु यीशु का अपने अनुयायियों से वायदा है, "तुम्हारा स्‍वभाव लोभरहित हो, और जो तुम्हारे पास है, उसी पर संतोष किया करो; क्योंकि उसने आप ही कहा है, कि मैं तुझे कभी न छोडूंगा, और न कभी तुझे त्यागूंगा। इसलिये हम बेधड़क हो कर कहते हैं, कि प्रभु, मेरा सहायक है; मैं न डरूंगा; मनुष्य मेरा क्या कर सकता है" (इब्रानियों 13:5-6)। प्रेरित पौलुस ने, मृत्यु की संभावना को लेकर आशंकित हो रहे थिस्सुलुनिकिया के मसीही विश्वासियों को लिखी अपनी पत्री में उन्हें प्रभु यीशु के आश्वसन का स्मरण कराया कि यदि मृत्यु आ भी जाए तो कोई डरने की बात नहीं है क्योंकि मृत्योप्रांत, "...हम सदा प्रभु के साथ रहेंगे" (1 थिस्सुलुनीकियों 4:17)।

   हमें आज हमारी जीवन यात्रा चाहे कितनी भी भयावह प्रतीत हो रही हो, या अपना भविष्य कितना भी अन्धकारमय दिखाई दे रहा हो, हम मसीही विश्वासियों के साथ प्रभु यीशु की सदा बनी रहने वाली उपस्थिति हमें सभी परिस्थितियों और परेशानियों में से सकुशल होकर निकल पाने की सामर्थ और सान्तवना देती रहती है; और सबसे उत्तम बात यह है कि जब हम इस थोड़े समय के पार्थिव जीवन को समाप्त कर के अनन्त काल में प्रवेश करेंगे, फिर हम सदा ही प्रभु यीशु के साथ बने रहेंगे, उसे देखते रहेंगे और किसी बात को लेकर आशंकित या भयभीत कभी नहीं होने पाएंगे। इसीलिए प्रेरित पौलुस ने आगे कहा, "सो इन बातों से एक दूसरे को शान्‍ति दिया करो" (1 थिस्सुलुनीकियों 4:18)। - जो स्टोवैल


प्रभु परमेश्वर की उपस्थिति में बने रहना ही हमारी सांत्वना है।

निदान, हे भाइयो, आनन्‍दित रहो; सिद्ध बनते जाओ; ढाढ़स रखो; एक ही मन रखो; मेल से रहो, और प्रेम और शान्‍ति का दाता परमेश्वर तुम्हारे साथ होगा। - 2 कुरिन्थियों 13:11

बाइबल पाठ: 1 थिस्सुलुनीकियों 4:13-18
1 Thessalonians 4:13 हे भाइयों, हम नहीं चाहते, कि तुम उनके विषय में जो सोते हैं, अज्ञान रहो; ऐसा न हो, कि तुम औरों की नाईं शोक करो जिन्हें आशा नहीं। 
1 Thessalonians 4:14 क्योंकि यदि हम प्रतीति करते हैं, कि यीशु मरा, और जी भी उठा, तो वैसे ही परमेश्वर उन्हें भी जो यीशु में सो गए हैं, उसी के साथ ले आएगा। 
1 Thessalonians 4:15 क्योंकि हम प्रभु के वचन के अनुसार तुम से यह कहते हैं, कि हम जो जीवित हैं, और प्रभु के आने तक बचे रहेंगे तो सोए हुओं से कभी आगे न बढ़ेंगे। 
1 Thessalonians 4:16 क्योंकि प्रभु आप ही स्वर्ग से उतरेगा; उस समय ललकार, और प्रधान दूत का शब्द सुनाई देगा, और परमेश्वर की तुरही फूंकी जाएगी, और जो मसीह में मरे हैं, वे पहिले जी उठेंगे। 
1 Thessalonians 4:17 तब हम जो जीवित और बचे रहेंगे, उन के साथ बादलों पर उठा लिये जाएंगे, कि हवा में प्रभु से मिलें, और इस रीति से हम सदा प्रभु के साथ रहेंगे। 
1 Thessalonians 4:18 सो इन बातों से एक दूसरे को शान्‍ति दिया करो।

एक साल में बाइबल: 
  • यशायाह 31-33


मंगलवार, 5 अगस्त 2014

पूर्णतया साफ


   मेरा एक मित्र अपने पिछले वर्ष के जीवन अनुभवों के बारे में मुझे बता रहा था, जिस में वह कैंसर के लिए इलाज ले रहा था। उसके चेहरे पर छाई हुई मुस्कुराहट उस अच्छे समाचार का, जो अभी हाल ही में उसे मिला था, सशक्त प्रमाण थी। उसने बताया कि उसके इलाज के पूरा होने के एक वर्ष पश्चात की जाँच से पता चला कि अब वह कैंसर के सभी लक्षणों से पूर्ण्तया साफ है! ये दो शब्द, "पूर्ण्तया साफ" कितना भारी प्रभाव रखते हैं। मेरे उस मित्र के लिए इन दो शब्दों का अर्थ था कि अब उसके शरीर में से उसकी जान को खतरे में डालने वाले रोग के सभी अंश बिलकुल समाप्त हो चुके थे, अब खतरा टल चुका था और हम सब अपने मित्र के साथ इस बात के लिए आनन्दित हुए।

   राजा दाऊद भी बतशीबा के साथ अपनी नैतिक पराजय को झेलने के बाद अपने हृदय के लिए ऐसी ही दशा प्राप्त करने को लालायित था। अपने पापों के दाग़ों के धोए जाने की इच्छा लिए वह परमेश्वर से गुहार लगाता है: "हे परमेश्वर, मेरे अन्दर शुद्ध मन उत्पन्न कर, और मेरे भीतर स्थिर आत्मा नये सिरे से उत्पन्न कर" (भजन 51:10)। उस समय दाऊद के लिए, और आज हमारे लिए भला समाचार यह है कि हमारे सब पापों के दाग़ धोए जा सकते हैं, हम पूर्णतया साफ हो सकते हैं, बस हमें परमेश्वर के वायदे पर भरोसा करते हुए उसके कथन का पालन करना है: "यदि हम अपने पापों को मान लें, तो वह हमारे पापों को क्षमा करने, और हमें सब अधर्म से शुद्ध करने में विश्वासयोग्य और धर्मी है" (1 यूहन्ना 1:9)।

   हम पाप से मलिन अपने हृदयों को अपने आप साफ नहीं कर सकते, यह कार्य केवल परमेश्वर ही कर सकता है। हम केवल अपने पापों को लेकर, उसके प्रेम और क्षमा पर विश्वास रखते हुए, उसके आश्वासन के अनुसार उसके पास आकर उन पापों और अपराधों को उसके समक्ष स्वीकार कर सकते हैं, उनके लिए पश्चाताप कर सकते हैं; और प्रभु यीशु में लाए गए विश्वास में होकर परमेश्वर से पापों की क्षमा तथा नया जीवन को उसके अनुग्रह की भेंट के रूप में स्वीकार कर सकते हैं। समस्त मानव जाति के सभी लोगों के लिए यह परमेश्वर का अटल वायदा है कि वह हमें हमारे पापों के हर दाग़ से पूर्णतया साफ कर देगा। - बिल क्राउडर


परमेश्वर से किए गए पाप अंगीकार और पश्चाताप का प्रतिफल सदा ही उससे मिलने वाली क्षमा और पवित्रता ही होता है।

जब मैं ने अपना पाप तुझ पर प्रगट किया और अपना अधर्म न छिपाया, और कहा, मैं यहोवा के साम्हने अपने अपराधों को मान लूंगा; तब तू ने मेरे अधर्म और पाप को क्षमा कर दिया। - भजन 32:5

बाइबल पाठ: 1 यूहन्ना 1:1-10
1 John 1:1 उस जीवन के वचन के विषय में जो आदि से था, जिसे हम ने सुना, और जिसे अपनी आंखों से देखा, वरन जिसे हम ने ध्यान से देखा; और हाथों से छूआ। 
1 John 1:2 (यह जीवन प्रगट हुआ, और हम ने उसे देखा, और उस की गवाही देते हैं, और तुम्हें उस अनन्त जीवन का समाचार देते हैं, जो पिता के साथ था, और हम पर प्रगट हुआ)। 
1 John 1:3 जो कुछ हम ने देखा और सुना है उसका समाचार तुम्हें भी देते हैं, इसलिये कि तुम भी हमारे साथ सहभागी हो; और हमारी यह सहभागिता पिता के साथ, और उसके पुत्र यीशु मसीह के साथ है। 
1 John 1:4 और ये बातें हम इसलिये लिखते हैं, कि हमारा आनन्द पूरा हो जाए।
1 John 1:5 जो समाचार हम ने उस से सुना, और तुम्हें सुनाते हैं, वह यह है; कि परमेश्वर ज्योति है: और उस में कुछ भी अन्धकार नहीं। 
1 John 1:6 यदि हम कहें, कि उसके साथ हमारी सहभागिता है, और फिर अन्धकार में चलें, तो हम झूठे हैं: और सत्य पर नहीं चलते। 
1 John 1:7 पर यदि जैसा वह ज्योति में है, वैसे ही हम भी ज्योति में चलें, तो एक दूसरे से सहभागिता रखते हैं; और उसके पुत्र यीशु का लोहू हमें सब पापों से शुद्ध करता है। 
1 John 1:8 यदि हम कहें, कि हम में कुछ भी पाप नहीं, तो अपने आप को धोखा देते हैं: और हम में सत्य नहीं। 
1 John 1:9 यदि हम अपने पापों को मान लें, तो वह हमारे पापों को क्षमा करने, और हमें सब अधर्म से शुद्ध करने में विश्वासयोग्य और धर्मी है। 
1 John 1:10 यदि कहें कि हम ने पाप नहीं किया, तो उसे झूठा ठहराते हैं, और उसका वचन हम में नहीं है।

एक साल में बाइबल: 
  • यशायाह 28-30


सोमवार, 4 अगस्त 2014

चुनाव और सामर्थ


   प्रसिद्ध एथलीट एरिक लिड्डल के लिए सन 1924 के ओलंपिक खेलों में इतवार के दिन किसी प्रतियोगिता में भाग नहीं लेने का निर्णय कठिन नहीं था, क्योंकि अपने गहरे मसीही विश्वास में वे इस बात के लिए निश्चित थे कि इतवार का दिन परमेश्वर की ओर से निर्धारित आराधना का दिन है, विश्राम का दिन है।

   उनके लिए इससे भी अधिक पशोपेश में डालने वाला अवसर इस घटना से लगभग एक वर्ष पहले आया था जब एरिक से कहा गया कि वे अपने मसीही विश्वास के बारे में लोगों के एक समूह को संबोधित करें। सार्वजनिक रूप में अपने मसीही विश्वास के बारे में चर्चा करने को लेकर अपनी दुविधा के बारे में लिड्डल ने कहा, "मैं अपने संपूर्ण जीवन सार्वजनिक रीति कार्य करने से दूर रहा था, लेकिन अब मसीह यीशु की अगुवाई इससे विपरीत दिशा में जाने की प्रतीत हो रही थी, और मैं सार्वजनिक दिशा में जाने से घबरा रहा था। अन्ततः मैंने निर्णय लिया कि मैं सब कुछ प्रभु यीशु पर ही छोड़ दूँगा - आखिरकर यदि वह ही मुझे कुछ करने को कह रहा है, तो वह ही उस कार्य के योग्य सामर्थ भी मुझे देगा। जब मैंने प्रभु के निर्देशों का पालन करने का चुनाव किया तब मुझे उस कार्य को करने की सामर्थ भी मिल गई।"

   जिस दिन एरिक लिड्डल ने अपने मसीही विश्वास के बारे में सार्वजनिक हो जाने का निर्णय लिया, उसके अगले ही दिन उन्हें चीन में रह रही उनकी बहिन जैनी का पत्र मिला, जो कई सप्ताह पूर्व लिख कर डाक में भेजा गया था। उस पत्र का अन्त परमेश्वर के वचन बाइबल के एक पद के साथ हुआ था; वह पद था: "मत डर, क्योंकि मैं तेरे संग हूं, इधर उधर मत ताक, क्योंकि मैं तेरा परमेश्वर हूं; मैं तुझे दृढ़ करूंगा और तेरी सहायता करूंगा, अपने धर्ममय दाहिने हाथ से मैं तुझे सम्हाले रहूंगा" (यशायाह 41:10)।

   हम मसीही विश्वासियों के लिए परमेश्वर की ओर से आने वाली हर बुलाहट विश्वास के साथ "हाँ" कहने के चुनाव का अवसर देती है जहाँ हम अपनी नहीं वरन परमेश्वर कि सामर्थ पर निर्भर रहना और उसी सामर्थ के साथ परमेश्वर के लिए कार्य करना सीखते हैं। - डेविड मैक्कैसलैंड


तुम्हारा बुलाने वाला सच्चा है, और वह ऐसा ही करेगा। - 1 थिस्सलुनीकियों 5:24

तुम तो मेरी भेड़-बकरियां, मेरी चराई की भेड़-बकरियां हो, तुम तो मनुष्य हो, और मैं तुम्हारा परमेश्वर हूँ, परमेश्वर यहोवा की यही वाणी है। - यहेजकेल 34:31

बाइबल पाठ: यशायाह 41:8-14
Isaiah 41:8 हे मेरे दास इस्राएल, हे मेरे चुने हुए याकूब, हे मेरे प्रेमी इब्राहीम के वंश; 
Isaiah 41:9 तू जिसे मैं ने पृथ्वी के दूर दूर देशों से लिया और पृथ्वी की छोर से बुला कर यह कहा, तू मेरा दास है, मैं ने तुझे चुना है और तजा नहीं; 
Isaiah 41:10 मत डर, क्योंकि मैं तेरे संग हूं, इधर उधर मत ताक, क्योंकि मैं तेरा परमेश्वर हूं; मैं तुझे दृढ़ करूंगा और तेरी सहायता करूंगा, अपने धर्ममय दाहिने हाथ से मैं तुझे सम्हाले रहूंगा।
Isaiah 41:11 देख, जो तुझ से क्रोधित हैं, वे सब लज्जित होंगे; जो तुझ से झगड़ते हैं उनके मुंह काले होंगे और वे नाश हो कर मिट जाएंगे। 
Isaiah 41:12 जो तुझ से लड़ते हैं उन्हें ढूंढने पर भी तू न पाएगा; जो तुझ से युद्ध करते हैं वे नाश हो कर मिट जाएंगे। 
Isaiah 41:13 क्योंकि मैं तेरा परमेश्वर यहोवा, तेरा दहिना हाथ पकड़कर कहूंगा, मत डर, मैं तेरी सहायता करूंगा।
Isaiah 41:14 हे कीड़े सरीखे याकूब, हे इस्राएल के मनुष्यों, मत डरो! यहोवा की यह वाणी है, मैं तेरी सहयता करूंगा; इस्राएल का पवित्र तेरा छुड़ाने वाला है।

एक साल में बाइबल: 
  • यशायाह 25-27


रविवार, 3 अगस्त 2014

कार्यकारी विश्वास


   रॉजर गठिया रोग से पीड़ित था, जो सर्दियों में और अधिक कष्टदायी हो जाता था, इसलिए वह गर्म इलाके में रहने के लिए थाईलैंड के शहर बैंगकॉक आ गया। एक दिन उसे अपनी दादी का एक प्रीय गीत, "आप क्या हैं?" स्मरण हो आया, जिसके शब्द थे: "आप जो हैं वह आपके व्यवहार से इतने ऊँचे शब्दों में बयान होता है कि इस संबंध में आपके मूँह से कही बात किसी को सुनाई नहीं दे पाती; सब आपके चाल-चलन को देखते हैं आपकी आवाज़ सुनने में रुचि नहीं रखते; वे प्रतिदिन आपको आपके व्यवहार से आँकते हैं।"

   इस गीत को स्मरण कर रॉजर अपने घर के पास आधा मील तक सड़क के दोनों ओर रहने वाले बेघर लोगों को भोजन उपलब्ध करवाने के लिए प्रेरित हुआ और प्रति प्रातः वह 45 परिवारों को गर्म भोजन परोसने लगा। कई वर्षों के पश्चात, उन बेघर लोगों में से एक महिला ने प्रभु यीशु को जाना और अपने उद्धारकर्ता के रूप में ग्रहण किया, और वह रॉजर के पास आई कि उसे प्रभु यीशु के प्रेम से अवगत करवाने के लिए धन्यवाद करे।

   परमेश्वर के वचन बाइबल में याकूब की पत्री में स्पष्ट लिखा है कि कर्म बिना विश्वास मरा हुआ है (याकूब 2:17)। इस कथन का यह तात्पपर्य नहीं है कि कर्मों से विश्वास आ जाएगा, वरन यह कि बिना किसी प्रतिफल की चिन्ता किए, प्रभु यीशु के प्रेम में होकर निस्वार्थ रीति से करे गए भले कार्य, प्रभु यीशु में आपके विश्वास की वास्तविकता को प्रमाणित करेंगे। यह कहना बहुत सरल है कि "मैं प्रभु यीशु में विश्वास रखता हूँ" लेकिन केवल हमारे कार्य और व्यवहार ही हमारे इस कथन की खराई को प्रमाणित कर सकते हैं। बाइबल का एक नायक, इब्राहीम, इसका उत्तम उदाहरण है। इब्राहीम ने केवल अपने विश्वास के बारे में बात ही नहीं करी, वरन वह परमेश्वर की आज्ञाकारिता में होकर अपने एकलौते पुत्र इसहाक को भी बलिदान करने के लिए तैयार हो गया (याकूब 2:21-24; उत्पत्ति 22:1-18); और परमेश्वर ने इसहाक को बलि होने से बचा भी लिया।

   आज हम अपने मसीही विश्वास को, परमेश्वर के प्रति अपने प्रेम एवं उसमें अपने भरोसे को कार्यकारी रीति से कैसे संसार के समक्ष रख सकते हैं? संसार के लोगों के सामने केवल मूँह से कही बातें नहीं, वरन उन बातों को अपने निज जीवन में कार्यकारी रीति से दिखाना ही प्रभु यीशु में हमारे विश्वास की सच्चाई को प्रमाणित करेगा। - एलबर्ट ली


ना तो विश्वास एवं कार्य अर्थ रखते हैं, ना ही विश्वास अथवा कार्य का महत्व है; जो चाहिए वह है ऐसा मसीही विश्वास जो जीवनों में कार्यकारी हो।

इसलिये जो कोई मेरी ये बातें सुनकर उन्हें मानता है वह उस बुद्धिमान मनुष्य की नाईं ठहरेगा जिसने अपना घर चट्टान पर बनाया। - मत्ती 7:24

बाइबल पाठ: याकूब 2:14-26
James 2:14 हे मेरे भाइयों, यदि कोई कहे कि मुझे विश्वास है पर वह कर्म न करता हो, तो उस से क्या लाभ? क्या ऐसा विश्वास कभी उसका उद्धार कर सकता है? 
James 2:15 यदि कोई भाई या बहिन नगें उघाड़े हों, और उन्हें प्रति दिन भोजन की घटी हो। 
James 2:16 और तुम में से कोई उन से कहे, कुशल से जाओ, तुम गरम रहो और तृप्‍त रहो; पर जो वस्तुएं देह के लिये आवश्यक हैं वह उन्हें न दे, तो क्या लाभ? 
James 2:17 वैसे ही विश्वास भी, यदि कर्म सहित न हो तो अपने स्‍वभाव में मरा हुआ है।
James 2:18 वरन कोई कह सकता है कि तुझे विश्वास है, और मैं कर्म करता हूं: तू अपना विश्वास मुझे कर्म बिना तो दिखा; और मैं अपना विश्वास अपने कर्मों के द्वारा तुझे दिखाऊंगा। 
James 2:19 तुझे विश्वास है कि एक ही परमेश्वर है: तू अच्छा करता है: दुष्टात्मा भी विश्वास रखते, और थरथराते हैं। 
James 2:20 पर हे निकम्मे मनुष्य क्या तू यह भी नहीं जानता, कि कर्म बिना विश्वास व्यर्थ है? 
James 2:21 जब हमारे पिता इब्राहीम ने अपने पुत्र इसहाक को वेदी पर चढ़ाया, तो क्या वह कर्मों से धामिर्क न ठहरा था? 
James 2:22 सो तू ने देख लिया कि विश्वास ने उस के कामों के साथ मिल कर प्रभाव डाला है और कर्मों से विश्वास सिद्ध हुआ। 
James 2:23 और पवित्र शास्त्र का यह वचन पूरा हुआ, कि इब्राहीम ने परमेश्वर की प्रतीति की, और यह उसके लिये धर्म गिना गया, और वह परमेश्वर का मित्र कहलाया। 
James 2:24 सो तुम ने देख लिया कि मनुष्य केवल विश्वास से ही नहीं, वरन कर्मों से भी धर्मी ठहरता है। 
James 2:25 वैसे ही राहाब वेश्या भी जब उसने दूतों को अपने घर में उतारा, और दूसरे मार्ग से विदा किया, तो क्या कर्मों से धामिर्क न ठहरी? 
James 2:26 निदान, जैसे देह आत्मा बिना मरी हुई है वैसा ही विश्वास भी कर्म बिना मरा हुआ है।

एक साल में बाइबल: 
  • यशायाह 22-24


शनिवार, 2 अगस्त 2014

सहायक


   मैं स्टोर से खरीद्दारी कर के बिल चुकाने के लिए लाईन में खड़ी थी और मेरा ध्यान खरीद्दारी की कुल कीमत का आँकलन करने और अपने बेटे को इधर-उधर हो जाने से रोके रखने के बीच में बंटा हुआ था। मुझे पता ही नहीं पड़ा कि कब मेरे सामने लाईन में खड़ी महिला अपनी खरीद्दारी की सारी वस्तुएं वहीं कलर्क के पास छोड़कर बाहर चली गई। पैसे लेने वाली कलर्क ने मुझ से कहा, उसके पास चुकाने के लिए पर्याप्त पैसे नहीं थे इसलिए वह खाली हाथ ही चली गई। मुझे बहुत बुरा लगा, काश मैंने थोड़ा ध्यान रखा होता, तो मैं उस महिला की सहायता करने पाती, उसे अपना सामान छोड़कर खाली हाथ नहीं जाना पड़ता।

   परमेश्वर के वचन बाइबल में रूत की पुस्तक में खेतों के मालिक बोअज़ को रूत की दयनीय दशा के बारे में पता चलता है जब रूत उसके खेत में कटनी के पश्चात नीचे गिरी हुई अनाज की बालें अपनी आवश्यकता के लिए बटोरने आती है (रूत 2:5)। बोअज़ को मालूम पड़ता है कि वह विधवा है, और अपनी सास के साथ रहती है, तथा घर चलाने के लिए उनके पास कुछ नहीं है। बोअज़ ने उनकी आवश्यकता और सुरक्षा की स्थिति को समझा और अपने खेत में कार्य करने वाले मज़दूरों को निर्देश दिए कि उसे बिलकुल भी कोई परेशानी नहीं होनी चाहिए, तथा यह भी निर्देश दिए कि रूत कि सहायता के लिए, जिस जगह वह अनाज बीन रही हो वहाँ कुछ अधिक अनाज भूमि पर गिरा दें। बोअज़ ने रुत की भावनात्मक आवश्यकताओं का भी ध्यान रखा, उससे बातचीत करी और उसे सान्तवना दी। जब रूत ने यह सब अपनी सास, नाओमी को बताया तब नाओमी ने कहा: "...धन्य वह हो जिसने तेरी सुधि ली है..." (रूत 2:19)।

   क्या आज आप अपने आस-पासे के किसी जन की आवश्यकताओं के बारे में जानते हैं - आपके चर्च में, पड़ौस में, या आपके अपने घर में? विचार कीजिए आप किस रिति से उनके सहायक हो सकते हैं, उनके किसी बोझ को बाँट सकते हैं। लोगों की सहायता करने के द्वारा आप अपने मसीही विश्वास की गवाही उनके सामने रख सकते हैं और उनके अनन्त जीवन को संवारने में परमेश्वर के सहायक भी हो सकते हैं। - जेनिफर बेन्सन शुल्ट


परमेश्वर हम में होकर हमारे आस-पास के लोगों के जीवनों में कार्य करता है।

क्या ही धन्य है वह, जो कंगाल की सुधि रखता है! विपत्ति के दिन यहोवा उसको बचाएगा। - भजन 41:1

बाइबल पाठ: रूत 2:5-20
Ruth 2:5 तब बोअज ने अपने उस सेवक से जो लवने वालों के ऊपर ठहराया गया था पूछा, वह किस की कन्या है। 
Ruth 2:6 जो सेवक लवने वालों के ऊपर ठहराया गया था उसने उत्तर दिया, वह मोआबिन कन्या है, जो नाओमी के संग मोआब देश से लौट आई है। 
Ruth 2:7 उसने कहा था, मुझे लवने वालों के पीछे पीछे पूलों के बीच बीनने और बालें बटोरने दे। तो वह आई, और भोर से अब तक यहीं है, केवल थोड़ी देर तक घर में रही थी। 
Ruth 2:8 तब बोअज ने रूत से कहा, हे मेरी बेटी, क्या तू सुनती है? किसी दूसरे के खेत में बीनने को न जाना, मेरी ही दासियों के संग यहीं रहना। 
Ruth 2:9 जिस खेत को वे लवतीं हों उसी पर तेरा ध्यान बन्धा रहे, और उन्हीं के पीछे पीछे चला करना। क्या मैं ने जवानों को आज्ञा नहीं दी, कि तुझ से न बोलें? और जब जब तुझे प्यास लगे, तब तब तू बरतनों के पास जा कर जवानों का भरा हुआ पानी पीना। 
Ruth 2:10 तब वह भूमि तक झुककर मुंह के बल गिरी, और उस से कहने लगी, क्या कारण है कि तू ने मुझ परदेशिन पर अनुग्रह की दृष्टि कर के मेरी सुधि ली है? 
Ruth 2:11 बोअज ने उत्तर दिया, जो कुछ तू ने पति मरने के पीछे अपनी सास से किया है, और तू किस रीति अपने माता पिता और जन्मभूमि को छोड़कर ऐसे लोगों में आई है जिन को पहिले तू ने जानती थी, यह सब मुझे विस्तार के साथ बताया गया है। 
Ruth 2:12 यहोवा तेरी करनी का फल दे, और इस्राएल का परमेश्वर यहोवा जिसके पंखों के तले तू शरण लेने आई है तुझे पूरा बदला दे 
Ruth 2:13 उसने कहा, हे मेरे प्रभु, तेरे अनुग्रह की दृष्टि मुझ पर बनी रहे, क्योंकि यद्यपि मैं तेरी दासियों में से किसी के भी बराबर नहीं हूं, तौभी तू ने अपनी दासी के मन में पैठनेवाली बातें कहकर मुझे शान्ति दी है। 
Ruth 2:14 फिर खाने के समय बोअज ने उस से कहा, यहीं आकर रोटी खा, और अपना कौर सिरके में बोर। तो वह लवने वालों के पास बैठ गई; और उसने उसको भुनी हुई बालें दी; और वह खाकर तृप्त हुई, वरन कुछ बचा भी रखा। 
Ruth 2:15 जब वह बीनने को उठी, तब बोअज ने अपने जवानों को आज्ञा दी, कि उसको पूलों के बीच बीच में भी बीनने दो, और दोष मत लगाओ। 
Ruth 2:16 वरन मुट्ठी भर जाने पर कुछ कुछ निकाल कर गिरा भी दिया करो, और उसके बीनने के लिये छोड़ दो, और उसे घुड़को मत। 
Ruth 2:17 सो वह सांझ तक खेत में बीनती रही; तब जो कुछ बीन चुकी उसे फटका, और वह कोई एपा भर जौ निकला। 
Ruth 2:18 तब वह उसे उठा कर नगर में गई, और उसकी सास ने उसका बीना हुआ देखा, और जो कुछ उसने तृप्त हो कर बचाया था उसको उसने निकाल कर अपनी सास को दिया। 
Ruth 2:19 उसकी सास ने उस से पूछा, आज तू कहां बीनती, और कहां काम करती थी? धन्य वह हो जिसने तेरी सुधि ली है। तब उसने अपनी सास को बता दिया, कि मैं ने किस के पास काम किया, और कहा, कि जिस पुरूष के पास मैं ने आज काम किया उसका नाम बोअज है। 
Ruth 2:20 नाओमी ने अपनी बहू से कहा, वह यहोवा की ओर से आशीष पाए, क्योंकि उसने न तो जीवित पर से और न मरे हुओं पर से अपनी करूणा हटाई! फिर नाओमी ने उस से कहा, वह पुरूष तो हमारा कुटुम्बी है, वरन उन में से है जिन को हमारी भूमि छुड़ाने का अधिकार है।

एक साल में बाइबल: 
  • यशायाह 19-21


शुक्रवार, 1 अगस्त 2014

परन्तु परमेश्वर


   जब मैं कॉलेज में थी तो उस स्मय मेरे पास्टर थे हॉवर्ड सगडेन जिन्होंने अनेक विस्मरणीय उपदेश दिए हैं। इतने वर्ष बीत जाने के बाद भी उनका एक उपदेश जिसका शीर्षक था, "परन्तु परमेश्वर..." आज भी मुझे रुक कर सोचने पर बाध्य कर देता है, जब भी मैं परमेश्वर के वचन बाइबल में इन शब्दों को पढ़ती हूँ। ये बाइबल से लिए गए कुछ पद हैं जो मुझे प्रोत्साहित करते हैं और स्मरण दिलाते हैं कि आवश्यकता पड़ने पर परमेश्वर मानव कार्यों में धार्मिकता से अपने बच्चों के पक्ष में हस्तक्षेप करता है:

  • यद्यपि तुम लोगों ने मेरे लिये बुराई का विचार किया था; परन्तु परमेश्वर ने उसी बात में भलाई का विचार किया, जिस से वह ऐसा करे, जैसा आज के दिन प्रगट है, कि बहुत से लोगों के प्राण बचे हैं। - उत्पत्ति 50:20
  • वे अधोलोक की मानों भेड़- बकरियां ठहराए गए हैं; मृत्यु उनका गड़ेरिया ठहरी; और बिहान को सीधे लोग उन पर प्रभुता करेंगे; और उनका सुन्दर रूप अधोलोक का कौर हो जाएगा और उनका कोई आधार न रहेगा। परन्तु परमेश्वर मेरे प्राण को अधोलोक के वश से छुड़ा लेगा, क्योंकि वही मुझे ग्रहण कर अपनाएगा। - भजन 49:14-15
  • मेरे हृदय और मन दोनों तो हार गए हैं, परन्तु परमेश्वर सर्वदा के लिये मेरा भाग और मेरे हृदय की चट्टान बना है। - भजन 73:26
  • किसी धर्मी जन के लिये कोई मरे, यह तो र्दुलभ है, परन्तु क्या जाने किसी भले मनुष्य के लिये कोई मरने का भी हियाव करे। परन्तु परमेश्वर हम पर अपने प्रेम की भलाई इस रीति से प्रगट करता है, कि जब हम पापी ही थे तभी मसीह हमारे लिये मरा। - रोमियों 5:7-8
  • परन्तु जैसा लिखा है, कि जो आंख ने नहीं देखी, और कान ने नहीं सुना, और जो बातें मनुष्य के चित्त में नहीं चढ़ीं वे ही हैं, जो परमेश्वर ने अपने प्रेम रखने वालों के लिये तैयार की हैं। परन्तु परमेश्वर ने उन को अपने आत्मा के द्वारा हम पर प्रगट किया; क्योंकि आत्मा सब बातें, वरन परमेश्वर की गूढ़ बातें भी जांचता है। - 1 कुरिन्थियों 2:9-10

जब कभी आप निराश हों तो परमेश्वर के वचन बाइबल से "परन्तु परमेश्वर..." वाले कुछ पद पढ़कर उन पर मनन कीजिए, और आप सुनिश्चित हो जाएंगे कि परमेश्वर अपने बच्चों के जीवनों में संलग्न रहता है, उनके लिए हस्तक्षेप करता है। - जूली ऐकैरमैन लिंक


हमारे जीवनों में परमेश्वर का संलग्न तथा सक्रीय होना हमारे लिए उसके प्रेम का आशवासन एवं प्रमाण है।

जो प्रेम परमेश्वर हम से रखता है, वह इस से प्रगट हुआ, कि परमेश्वर ने अपने एकलौते पुत्र को जगत में भेजा है, कि हम उसके द्वारा जीवन पाएं। प्रेम इस में नहीं कि हम ने परमेश्वर ने प्रेम किया; पर इस में है, कि उसने हम से प्रेम किया; और हमारे पापों के प्रायश्‍चित्त के लिये अपने पुत्र को भेजा। - 1 यूहन्ना 4:9-10

बाइबल पाठ: रोमियों 5:8-11
Romans 5:8 परन्तु परमेश्वर हम पर अपने प्रेम की भलाई इस रीति से प्रगट करता है, कि जब हम पापी ही थे तभी मसीह हमारे लिये मरा। 
Romans 5:9 सो जब कि हम, अब उसके लोहू के कारण धर्मी ठहरे, तो उसके द्वारा क्रोध से क्यों न बचेंगे? 
Romans 5:10 क्योंकि बैरी होने की दशा में तो उसके पुत्र की मृत्यु के द्वारा हमारा मेल परमेश्वर के साथ हुआ फिर मेल हो जाने पर उसके जीवन के कारण हम उद्धार क्यों न पाएंगे? 
Romans 5:11 और केवल यही नहीं, परन्तु हम अपने प्रभु यीशु मसीह के द्वारा जिस के द्वारा हमारा मेल हुआ है, परमेश्वर के विषय में घमण्ड भी करते हैं।

एक साल में बाइबल: 
  • यशायाह 16-18