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बुधवार, 6 अक्तूबर 2010

चिरस्थाई और उतम भाग

एक सर्वेक्षण में, जो १३९ देशों और २०,००० से अधिक मसिही विश्वासी कार्यकर्ताओं में किया गया, पाया गया कि विश्व भर में, औसतन ४० प्रतिशत मसीही कहते हैं कि वे एक कार्य से दूसरे कार्य के लिये हमेशा या अकसर भागते रहते हैं; और लगभग ६० प्रतिशत मानते हैं कि कार्य की व्यस्तता हमेशा या अकसर उनके जीवन में परमेश्वर के साथ अच्छा संबंध विकिसित करने में बाधा होती है। स्पष्ट है कि जीवन के कार्यों में व्यस्त होना, परमेश्वर के साथ हमारी संगति करने में एक बाधा है।

मार्था के लिये भी कार्यों में व्यस्त होना प्रभु यीशु के साथ संगति करने में बाधा बना। मार्था ने प्रभु यीशु और उसके चेलों को अपने घर में आमंत्रित किया, जब वे आए तो वह उनके पांव धोने, उनके लिए भोजन बनाने, उन्हें आराम से रखने में व्यस्त हो गई। यह सब करना तो आवश्यक था, परन्तु यह सब उसके लिए प्रभु के साथ बैठने और उसकी बात सुनने से अधिक महत्वपूर्ण हो गया, प्रभु के साथ उसकी संगति में आनन्दमग्न होने में बाधा बन गया। इसके विपरीत उसकी बहन मरियम ने प्रभु के चरणों पर बैठकर प्रभु की बात सुनना पसन्द किया और "प्रभु ने उसे उत्तर दिया, मार्था, हे मार्था, तू बहुत बातों के लिये चिन्‍ता करती और घबराती है। परन्‍तु एक बात अवश्य है, और उस उत्तम भाग को मरियम ने चुन लिया है: जो उस से छीना न जाएगा।" (लूका १०:३८-४२)

आज आपका क्या हाल है? क्या आप भी एक कार्य से दूसरे कार्य की भाग-दौड़ में इतने व्यस्त हैं कि आपका ध्यान प्रभु से हट गया है, और उसके साथ संगति का मधुर आनन्द आपके जीवन में नहीं है? यदि ऐसा है तो परमेश्वर से प्रार्थना में मांगें कि वह आपका ध्यान प्रभु यीशु मसीह पर केंद्रित करने और जीवन की व्यस्तता से निकालने में आपकी सहायता करे, जिससे आप प्रभु की संगति और शांत जीवन के आनन्द का वह उत्तम भाग पा सकें, जो आपसे कभी छीना नहीं जा सकता। - मारविन विलियम्स


यदि आप परमेश्वर के लिये उचित समय नहीं निकल पा रहे हैं तो आप वास्तव में अनआवश्यक तौर पर व्यस्त हैं।

पर मार्था सेवा
करते करते घबरा गई - लूका १०:४२

बाइबल पाठ: लूका १०:३८-४२

फिर जब वे जा रहे थे, तो वह एक गांव में गया, और मार्था नाम एक स्त्री ने उसे अपने घर में उतारा।
और मरियम नाम उस की एक बहिन थी, वह प्रभु के पांवों के पास बैठकर उसका वचन सुनती थी।
पर मार्था सेवा करते करते घबरा गई और उसके पास आकर कहने लगी, हे प्रभु, क्‍या तुझे कुछ भी सोच नहीं कि मेरी बहिन ने मुझे सेवा करने के लिये अकेली ही छोड़ दिया है सो उस से कह, कि मेरी सहायता करे।
प्रभु ने उसे उत्तर दिया, मार्था, हे मार्था, तू बहुत बातों के लिये चिन्‍ता करती और घबराती है।
परन्‍तु एक बात अवश्य है, और उस उत्तम भाग को मरियम ने चुन लिया है: जो उस से छीना न जाएगा।

एक साल में बाइबल:
  • यशायाह २६, २७
  • फिलिप्पियों २

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