एक रात एक पादरी मार्ग पर जा रहा था कि एक चोर ने उसे पकड़ा और बन्दूक दिखाते हुए कहा कि या तो अपने पैसे दे दे नहीं तो जान से जाएगा। पादरी ने अपना बटुवा निकालने के लिए जब अपना हाथ अपनी जेब की ओर किया तो उस चोर को पादरी का चोगा दिखाई दिया; चोर ने कहा, "अच्छा तो तुम पादरी हो; चलो रहने दो, तुम ऐसे ही चले जाओ।" पादरी उस चोर द्वारा दया के इस अनेपक्षित आचरण से चकित हुआ, और जेब से निकाल कर कुछ टॉफी चोर की ओर बढ़ाईं। चोर ने टॉफी लेने से इन्कार करते हुए कहा, "धन्यवाद; लेकिन मैं इन उपवास के दिनों में कुछ नहीं खाता।"
उस चोर ने उपवास के दिनों में टॉफी तक खाना तो छोड़ रखा था, लेकिन चोरी की आदत नहीं छोड़ी; उसका व्यवहार ही उसके असली चरित्र का प्रमाण था। परमेश्वर के वचन बाइबल में नीतिवचन के लेखक ने भी इसी बात को लिखा, कि व्यवहार ही चरित्र का सबसे अच्छा सूचक है; यदि कोई कहता है कि वह एक भक्त व्यक्ति है, तो उसका आचरण ही उसकी भक्ति का प्रमाण है (नीतिवचन 20:11)। आचरण और प्रवचन का विरोधाभास प्रभु यीशु के समय के धार्मिक अगुवों के चरित्र का भी भाग था। इसीलिए प्रभु यीशु उनके इस दोगलेपन को उजागर तथा उनके व्यवहार की भर्त्सना करते रहते थे (मत्ती 23:13-36)। बाहरी स्वरूप तथा शब्द तो धोखा दे सकते हैं लेकिन व्यवहार चरित्र की असलियत का प्रमाण दे देता है; और यह बात हम सब पर समानता से लागू होती है।
प्रभु यीशु के अनुयायी होने के कारण हम मसीही विश्वासियों को उसके प्रति अपनी निष्ठा और प्रेम अपने व्यवहार तथा चरित्र से प्रदर्शित करनी है ना कि केवल अपने शब्दों से। होने दें कि परमेश्वर के हमारे प्रति दिखाए गए प्रेम के कारण उसके प्रति आपका समर्पण संसार के समक्ष आपके व्यवहार से प्रमाणित हो सके। - मार्विन विलियम्स
व्यवहार चरित्र का सर्वोत्तम प्रमाण है।
लड़का भी अपने कामों से पहिचाना जाता है, कि उसका काम पवित्र और सीधा है, वा नहीं। - नीतिवचन 20:11
बाइबल पाठ: मत्ती 23:23-33
Matthew 23:23 हे कपटी शास्त्रियों, और फरीसियों, तुम पर हाय; तुम पोदीने और सौंफ और जीरे का दसवां अंश देते हो, परन्तु तुम ने व्यवस्था की गम्भीर बातों को अर्थात न्याय, और दया, और विश्वास को छोड़ दिया है; चाहिये था कि इन्हें भी करते रहते, और उन्हें भी न छोड़ते।
Matthew 23:24 हे अन्धे अगुवों, तुम मच्छर को तो छान डालते हो, परन्तु ऊंट को निगल जाते हो।
Matthew 23:25 हे कपटी शास्त्रियों, और फरीसियों, तुम पर हाय, तुम कटोरे और थाली को ऊपर ऊपर से तो मांजते हो परन्तु वे भीतर अन्धेर असंयम से भरे हुए हैं।
Matthew 23:26 हे अन्धे फरीसी, पहिले कटोरे और थाली को भीतर से मांज कि वे बाहर से भी स्वच्छ हों।
Matthew 23:27 हे कपटी शास्त्रियों, और फरीसियों, तुम पर हाय; तुम चूना फिरी हुई कब्रों के समान हो जो ऊपर से तो सुन्दर दिखाई देती हैं, परन्तु भीतर मुर्दों की हिड्डयों और सब प्रकार की मलिनता से भरी हैं।
Matthew 23:28 इसी रीति से तुम भी ऊपर से मनुष्यों को धर्मी दिखाई देते हो, परन्तु भीतर कपट और अधर्म से भरे हुए हो।
Matthew 23:29 हे कपटी शास्त्रियों, और फरीसियों, तुम पर हाय; तुम भविष्यद्वक्ताओं की कब्रें संवारते और धर्मियों की कब्रें बनाते हो।
Matthew 23:30 और कहते हो, कि यदि हम अपने बाप-दादों के दिनों में होते तो भविष्यद्वक्ताओं की हत्या में उन के साझी न होते।
Matthew 23:31 इस से तो तुम अपने पर आप ही गवाही देते हो, कि तुम भविष्यद्वक्ताओं के घातकों की सन्तान हो।
Matthew 23:32 सो तुम अपने बाप-दादों के पाप का घड़ा भर दो।
Matthew 23:33 हे सांपो, हे करैतों के बच्चों, तुम नरक के दण्ड से क्योंकर बचोगे?
एक साल में बाइबल:
- निर्गमन 39-40
- मत्ती 23:23-39