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गुरुवार, 23 जून 2016

सुधार और संरक्षण


   सदियों से समय या अन्य किसी कारण से जीर्ण होकर खराब हो गई कलाकृतियों को ठीक करने और उन्हें सुरक्षित रखने के अनेक प्रयास होत आए हैं। इनमें से कई प्रयास अपने उद्देश्य में सफल हुए और उन महान कलाकारों की मूल कृतियों को कुशलता से संरक्षित किया जा सके, लेकिन कुछ प्रयास असफल भी हुए जिसके कारण प्रतिभाशाली कलाकारों की कलाकृतियाँ और भी खराब हो गईं; इन खराब हुई कलाकृतियों में कुछ यूनानी मूर्तियाँ और दा-विन्ची के दो चित्र भी हैं।

   परमेश्वर के वचन बाइबल में, प्रेरित पौलुस द्वारा कुलुस्से के मसीही विश्वासियों को लिखे पत्र में पौलुस ने एक ऐसे सुधार और संरक्षण के कार्य के बारे में बताया है जो संसार द्वारा होने वाले किसी भी सुधार और संरक्षण से संभव नहीं है; यह सुधार और संरक्षण है परमेश्वर के लोगों का। पौलुस ने लिखा: "...क्योंकि तुम ने पुराने मनुष्यत्‍व को उसके कामों समेत उतार डाला है। और नए मनुष्यत्‍व को पहिन लिया है जो अपने सृजनहार के स्‍वरूप के अनुसार ज्ञान प्राप्त करने के लिये नया बनता जाता है" (कुलुस्सियों 3:9-10)। यह किसी मृत कलाकार की सांसारिक कलाकृति के सुधार और संरक्षण का कार्य नहीं है; यह आत्मिक सुधार और संरक्षण का कार्य है जो जीवते और सच्चे परमेश्वर द्वारा किया जाता है; उस परमेश्वर द्वारा जिसने हमें सृजा है, जिसने अपने पुत्र और जगत के उद्धारकर्ता प्रभु यीशु में होकर अनुग्रह से हमें नया जीवन सेंत-मेंत उपहार के रूप में प्रदान किया है। उसकी क्षमा हमारे जीवनों में नए रंग भर देती है और उसका अनुग्रह हमारे जीवनों के लिए उसके उद्देश्यों की रूपरेखा को स्पष्ट और निखरा हुआ कर देता है।

   हमारे जीवन का चित्रपटल हमारे प्रभु के कुशल हाथों में सुरक्षित है; उस प्रभु के जो यह बखूबी जानता है कि उसने हमें किस लिए रचा है, और वह हम से क्या चाहता है। अपने पापों के कारण हम चाहे कितने भी दूषित और बिगड़े हुए क्यों ना हों, जब भी हम पश्चाताप और समर्पण के साथ उसके पास आते हैं, उससे मिलने वाले सुधार और संरक्षण के कारण हमारे उज्जवल भविष्य के लिए आशा सदा बनी रहती है। परमेश्वर वह सर्वोत्त्म और सबसे महान कलाकार है जो स्वयं अपनी कलाकृति का सुधार और संरक्षण करने के लिए उपलब्ध और तत्पर रहता है। - डेविड मैक्कैसलैंड


प्रभु यीशु मसीह हर किसी के जीवन का सुधार और संरक्षण कर सकने का विशेषज्ञ है।

परन्तु वह जानता है, कि मैं कैसी चाल चला हूँ; और जब वह मुझे ता लेगा तब मैं सोने के समान निकलूंगा। - अय्यूब 23:10

बाइबल पाठ: कुलुस्सियों 3:5-17
Colossians 3:5 इसलिये अपने उन अंगो को मार डालो, जो पृथ्वी पर हैं, अर्थात व्यभिचार, अशुद्धता, दुष्‍कामना, बुरी लालसा और लोभ को जो मूर्ति पूजा के बराबर है। 
Colossians 3:6 इन ही के कारण परमेश्वर का प्रकोप आज्ञा न मानने वालों पर पड़ता है। 
Colossians 3:7 और तुम भी, जब इन बुराइयों में जीवन बिताते थे, तो इन्‍हीं के अनुसार चलते थे। 
Colossians 3:8 पर अब तुम भी इन सब को अर्थात क्रोध, रोष, बैरभाव, निन्‍दा, और मुंह से गालियां बकना ये सब बातें छोड़ दो। 
Colossians 3:9 एक दूसरे से झूठ मत बोलो क्योंकि तुम ने पुराने मनुष्यत्‍व को उसके कामों समेत उतार डाला है। 
Colossians 3:10 और नए मनुष्यत्‍व को पहिन लिया है जो अपने सृजनहार के स्‍वरूप के अनुसार ज्ञान प्राप्त करने के लिये नया बनता जाता है। 
Colossians 3:11 उस में न तो यूनानी रहा, न यहूदी, न खतना, न खतनारिहत, न जंगली, न स्‍कूती, न दास और न स्‍वतंत्र: केवल मसीह सब कुछ और सब में है।
Colossians 3:12 इसलिये परमेश्वर के चुने हुओं की नाईं जो पवित्र और प्रिय हैं, बड़ी करूणा, और भलाई, और दीनता, और नम्रता, और सहनशीलता धारण करो। 
Colossians 3:13 और यदि किसी को किसी पर दोष देने को कोई कारण हो, तो एक दूसरे की सह लो, और एक दूसरे के अपराध क्षमा करो: जैसे प्रभु ने तुम्हारे अपराध क्षमा किए, वैसे ही तुम भी करो। 
Colossians 3:14 और इन सब के ऊपर प्रेम को जो सिद्धता का कटिबन्‍ध है बान्‍ध लो। 
Colossians 3:15 और मसीह की शान्‍ति जिस के लिये तुम एक देह हो कर बुलाए भी गए हो, तुम्हारे हृदय में राज्य करे, और तुम धन्यवादी बने रहो। 
Colossians 3:16 मसीह के वचन को अपने हृदय में अधिकाई से बसने दो; और सिद्ध ज्ञान सहित एक दूसरे को सिखाओ, और चिताओ, और अपने अपने मन में अनुग्रह के साथ परमेश्वर के लिये भजन और स्‍तुतिगान और आत्मिक गीत गाओ। 
Colossians 3:17 और वचन से या काम से जो कुछ भी करो सब प्रभु यीशु के नाम से करो, और उसके द्वारा परमेश्वर पिता का धन्यवाद करो।

एक साल में बाइबल: 
  • एस्तेर 9-10
  • प्रेरितों 7:1-21