हम अपने बेटी को स्कूल के छात्रावास से लेकर
लौट रहे थे। हमारा मार्ग समुद्रतट के निकट से होकर निकलता था, इसलिए हम कुछ देर के
लिए नाश्ता-पानी के लिए समुद्रतट के निकट चले गए। हम वहाँ बैठे समुद्रतट के
दृश्यों का आनन्द ले रहे थे। वहीं तट पर कुछ नावें भी लगी हुई थीं; उन्हें तट से बाँधा
हुआ था, जिससे वे बह कर समुद्र में न निकल जाएँ। लेकिन मैंने देखा कि एक नाव थी जो
बंधी हुई नहीं थी, और वह समुद्र की लहरों के साथ हिचकोले लेती हुई धीरे-धीरे
समुद्र की ओर बहती जा रही थी।
घर वापस लौटते हुए, मैं उस नाव के बहने के
बारे में सोच रहा था तथा परमेश्वर के वचन बाइबल में, इब्रानियों की पुस्तक में,
मसीही विश्वासियों को दी गई चेतावनी, “इस कारण चाहिए, कि हम उन बातों पर जो हम ने सुनी हैं और भी मन लगाएं, ऐसा न हो कि बहक कर उन से दूर चले जाएं” (इब्रानियों
2:1) के बारे में विचार कर रहा था। हमारे पास अपने प्रभु परमेश्वर के निकट बने
रहने के पर्याप्त कारण हैं। इब्रानियों का लेखक कहता है कि यद्यपि मूसा की
व्यवस्था विश्वासयोग्य थी और उसका पालन आवश्यक था, परमेश्वर के पुत्र, प्रभु यीशु
मसीह का सन्देश उससे कहीं अधिक उत्तम है। प्रभु के द्वारा मिलने वाल उद्धार इतना
महान है कि हम उसकी अवहेलना कर ही नहीं सकते हैं (पद 3)।
प्रभु यीशु में लाए गए विश्वास में होकर
परमेश्वर के साथ बनने वाले हमारे संबंधों में उसके वचन के पालन से इधर-उधर बहकने
का आरम्भ में आभास भी नहीं होता है, क्योंकि यह बहुत धीरे-धीरे होता है। किन्तु
यदि हम प्रार्थना और बाइबल अध्ययन के द्वारा उसके साथ नियमित संपर्क बनाए रखते
हैं, अपनी गलतियों को उसके सामने स्वीकार करते रहते और उससे उनके लिए क्षमा मांगते
रहते हैं, तथा प्रभु यीशु के अन्य अनुयायियों के साथ वार्तालाप एवँ संपर्क बनाए
रखते है, तो हम प्रभु के साथ बंधे रहते हैं और तब हम सँसार तथा सँसार की बातों के
हिचकोलों में बहक कर प्रभु और उसकी शिक्षाओं एवँ देख-भाल से दूर नहीं हो पाते हैं।
यदि हम प्रभु के साथ निरन्तर संपर्क बनाए
रखेंगे, तो हम सँसार और सँसार की बातों से बहक नहीं जाएँगे, और प्रभु हमें
विश्वासयोग्यता से थामे रहेगा। - लॉरेंस दरमानी
परमेश्वर
से बहक कर दूर हो जाने से बचने के लिए,
हमारे उद्धार की चट्टान, प्रभु यीशु मसीह
के साथ संपर्क बनाए रखिए।
यहोवा मेरी चट्टान, और मेरा गढ़ और मेरा
छुड़ाने वाला है; मेरा ईश्वर, मेरी
चट्टान है, जिसका मैं शरणागत हूं, वह
मेरी ढ़ाल और मेरी मुक्ति का सींग, और मेरा ऊँचा गढ़ है। - भजन 18:2
बाइबल
पाठ: इब्रानियों 2:1-4
Hebrews 2:1 इस कारण चाहिए, कि हम उन बातों पर जो हम ने सुनी
हैं और भी मन लगाएं, ऐसा न हो कि बहक कर उन से दूर चले जाएं।
Hebrews 2:2 क्योंकि जो वचन स्वर्गदूतों के द्वारा कहा गया था जब वह स्थिर रहा और
हर एक अपराध और आज्ञा न मानने का ठीक ठीक बदला मिला।
Hebrews 2:3 तो हम लोग ऐसे बड़े उद्धार से निश्चिन्त रह कर क्योंकर बच सकते हैं?
जिस की चर्चा पहिले पहल प्रभु के द्वारा हुई, और
सुनने वालों के द्वारा हमें निश्चय हुआ।
Hebrews 2:4 और साथ ही परमेश्वर भी अपनी इच्छा के अनुसार चिन्हों, और अद्भुत कामों, और नाना प्रकार के सामर्थ के कामों,
और पवित्र आत्मा के वरदानों के बांटने के द्वारा इस की गवाही देता
रहा।
एक साल में
बाइबल:
- अय्यूब 8-10
- प्रेरितों 8:26-40