अपनी अन्तदृष्टिपूर्ण कहानियों के संकलन "The Forgotten Man" में लेखिका एमिटी शलेस ने १९३० के दशक में अमेरिका की भयानक आर्थिक मंदी के समय के जीवन के पहलुओं पर ध्यान आकर्षित किया है। इन कहानियों का केंद्र बिंदु है "भुलाया हुआ मनुष्य" - जो उस समय के अनगिनित बेरोज़गार लोगों के लिये प्रयोग होने वाली संज्ञा थी।
उस आर्थिक मंदी के दौर का एक प्रचलित गीत ऐसे लोगों की व्यथा को मार्मिक रूप में कहता है। गीत कुछ इस तरह से है:
"वे मुझसे कहते थे कि मैं आने वाली शान्ति और गौरव का सपना साकार कर रहा हूं; तो फिर मैं रोटी की भिक्षा पाने की प्रतीक्षा में पंक्ति में क्यों खड़ा हूं?
कभी मैं रेल पथ का निर्माण कर रहा था, मैंने उसे बनाया और चलाया, समय से तेज़ चलाया; कभी मैंने रेलपथ बनाया था, अब जब वह बन चुका है, तो भाई क्या मुझे कुछ दमड़ी दान दे सकते हो?"
जैसे ये गीत के बोल याद दिलाते हैं, आर्थिक मंदी मेहनतकश लोगों के हालात उथल-पुथल कर देती है। ऐसे में, मसीही होने के नाते, हमें उनकी सहायता के लिये जो बन सके वो करना चाहिये।
गलतियों कि मण्डली को लिखे अपने पत्र में पौलुस स्मरण करता है कि कैसे उसे और बरनबास को यरुशलेम में मण्डली के अगुवों ने "केवल यह कहा, कि हम कंगालों की सुधि लें, और इसी काम के करने का मैं आप भी यत्न कर रहा था।" (गलतियों २:१०) पौलुस के जीवन में हम देखते हैं कि कैसे वह सुसमाचार प्रचार करने और आर्थिक रूप से ज़रूरतमंदों की सहायता करने में लगा रहा (प्रेरितों ११:२९, ३०; १ कुरिन्थियों १६:१-३)।
कठिन समयों में, पौलुस के समान, हमें भी आत्मिक और शारीरिक ज़रूरतमंदों की सहायता में सन्लगन रहना चाहिये। थोड़ा सा धन चाहे ज़्यादा दूर तक साथ न दे, परन्तु उदार मन बहुत दूर तक साथ निभाता है; और उद्धारकर्ता परमेश्वर प्रभु यीशु, इस जीवन के बाद भी साथ निभाता है। - डेनिस फिशर
जो अपने पड़ोसी को तुच्छ जानता, वह पाप करता है, परन्तु जो दीन लोगों पर अनुग्रह करता, वह धन्य होता है। - नीतिवचन १४:२१
बाइबल पाठ: २ कुरिन्थियों ९:६-१५
परन्तु बात तो यह है, कि जो थोड़ा बोता है वह थोड़ा काटेगा भी और जो बहुत बोता है, वह बहुत काटेगा।
हर एक जन जैसा मन में ठाने वैसा ही दान करे न कुढ़ कुढ़ के, और न दबाव से, क्योंकि परमेश्वर हर्ष से देने वाले से प्रेम रखता है।
और परमेश्वर सब प्रकार का अनुग्रह तुम्हें बहुतायत से दे सकता है जिस से हर बात में और हर समय, सब कुछ, जो तुम्हें आवश्यक हो, तुम्हारे पास रहे, और हर एक भले काम के लिये तुम्हारे पास बहुत कुछ हो।
जैसा लिखा है, उस ने बिथराया, उस ने कंगालों को दान दिया, उसका धर्म सदा बना रहेगा।
सो जो बोने वाले को बीज, और भोजन के लिये रोटी देता है वह तुम्हें बीज देगा, और उसे फलवन्त करेगा और तुम्हारे धर्म के फलों को बढ़ाएगा।
कि तुम हर बात में सब प्रकार की उदारता के लिये जो हमारे द्वारा परमेश्वर का धन्यवाद करवाती है, धनवान किए जाओ।
क्योंकि इस सेवा के पूरा करने से, न केवल पवित्र लोगों की घटियां पूरी होती हैं, परन्तु लोगों की ओर से परमेश्वर का बहुत धन्यवाद होता है।
क्योंकि इस सेवा से प्रमाण लेकर परमेश्वर की महिमा प्रगट करते हैं, कि तुम मसीह के सुसमाचार को मान कर उसके आधीन रहते हो, और उन की, और सब की सहायता करने में उदारता प्रगट करते रहते हो।
ओर वे तुम्हारे लिये प्रार्थना करते हैं और इसलिये कि तुम पर परमेश्वर का बड़ा ही अनुग्रह है, तुम्हारी लालसा करते रहते हैं।
परमेश्वर को उसके उस दान के लिये जो वर्णन से बाहर है, धन्यवाद हो।
एक साल में बाइबल:
उस आर्थिक मंदी के दौर का एक प्रचलित गीत ऐसे लोगों की व्यथा को मार्मिक रूप में कहता है। गीत कुछ इस तरह से है:
"वे मुझसे कहते थे कि मैं आने वाली शान्ति और गौरव का सपना साकार कर रहा हूं; तो फिर मैं रोटी की भिक्षा पाने की प्रतीक्षा में पंक्ति में क्यों खड़ा हूं?
कभी मैं रेल पथ का निर्माण कर रहा था, मैंने उसे बनाया और चलाया, समय से तेज़ चलाया; कभी मैंने रेलपथ बनाया था, अब जब वह बन चुका है, तो भाई क्या मुझे कुछ दमड़ी दान दे सकते हो?"
जैसे ये गीत के बोल याद दिलाते हैं, आर्थिक मंदी मेहनतकश लोगों के हालात उथल-पुथल कर देती है। ऐसे में, मसीही होने के नाते, हमें उनकी सहायता के लिये जो बन सके वो करना चाहिये।
गलतियों कि मण्डली को लिखे अपने पत्र में पौलुस स्मरण करता है कि कैसे उसे और बरनबास को यरुशलेम में मण्डली के अगुवों ने "केवल यह कहा, कि हम कंगालों की सुधि लें, और इसी काम के करने का मैं आप भी यत्न कर रहा था।" (गलतियों २:१०) पौलुस के जीवन में हम देखते हैं कि कैसे वह सुसमाचार प्रचार करने और आर्थिक रूप से ज़रूरतमंदों की सहायता करने में लगा रहा (प्रेरितों ११:२९, ३०; १ कुरिन्थियों १६:१-३)।
कठिन समयों में, पौलुस के समान, हमें भी आत्मिक और शारीरिक ज़रूरतमंदों की सहायता में सन्लगन रहना चाहिये। थोड़ा सा धन चाहे ज़्यादा दूर तक साथ न दे, परन्तु उदार मन बहुत दूर तक साथ निभाता है; और उद्धारकर्ता परमेश्वर प्रभु यीशु, इस जीवन के बाद भी साथ निभाता है। - डेनिस फिशर
झुककर किसी दूसरे को उठना हृदय के लिये अच्छा व्यायाम है।
जो अपने पड़ोसी को तुच्छ जानता, वह पाप करता है, परन्तु जो दीन लोगों पर अनुग्रह करता, वह धन्य होता है। - नीतिवचन १४:२१
बाइबल पाठ: २ कुरिन्थियों ९:६-१५
परन्तु बात तो यह है, कि जो थोड़ा बोता है वह थोड़ा काटेगा भी और जो बहुत बोता है, वह बहुत काटेगा।
हर एक जन जैसा मन में ठाने वैसा ही दान करे न कुढ़ कुढ़ के, और न दबाव से, क्योंकि परमेश्वर हर्ष से देने वाले से प्रेम रखता है।
और परमेश्वर सब प्रकार का अनुग्रह तुम्हें बहुतायत से दे सकता है जिस से हर बात में और हर समय, सब कुछ, जो तुम्हें आवश्यक हो, तुम्हारे पास रहे, और हर एक भले काम के लिये तुम्हारे पास बहुत कुछ हो।
जैसा लिखा है, उस ने बिथराया, उस ने कंगालों को दान दिया, उसका धर्म सदा बना रहेगा।
सो जो बोने वाले को बीज, और भोजन के लिये रोटी देता है वह तुम्हें बीज देगा, और उसे फलवन्त करेगा और तुम्हारे धर्म के फलों को बढ़ाएगा।
कि तुम हर बात में सब प्रकार की उदारता के लिये जो हमारे द्वारा परमेश्वर का धन्यवाद करवाती है, धनवान किए जाओ।
क्योंकि इस सेवा के पूरा करने से, न केवल पवित्र लोगों की घटियां पूरी होती हैं, परन्तु लोगों की ओर से परमेश्वर का बहुत धन्यवाद होता है।
क्योंकि इस सेवा से प्रमाण लेकर परमेश्वर की महिमा प्रगट करते हैं, कि तुम मसीह के सुसमाचार को मान कर उसके आधीन रहते हो, और उन की, और सब की सहायता करने में उदारता प्रगट करते रहते हो।
ओर वे तुम्हारे लिये प्रार्थना करते हैं और इसलिये कि तुम पर परमेश्वर का बड़ा ही अनुग्रह है, तुम्हारी लालसा करते रहते हैं।
परमेश्वर को उसके उस दान के लिये जो वर्णन से बाहर है, धन्यवाद हो।
एक साल में बाइबल:
- नहूम १-३
- प्रकाशितवाक्य १४