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शनिवार, 9 मार्च 2019

गलती



      कंपनी के मुख्य कार्यकारी अधिकारी ने स्वीकार किया, “गलतियां तो हुई हैं”; वह कंपनी द्वारा गैर कानूनी कार्यों में लिप्त होने के बारे में चर्चा कर रहा था। वह खिन्न तो दिख रहा था, परन्तु उसने फिर भी दोष को दूर ही रखा और यह स्वीकार नहीं किया कि उसने व्यक्तिगत रीति से कुछ गलत किया था।

      कुछ “गलतियाँ” बस गलतियां ही होती हैं, जैसे कि सड़क की गलत दिशा में गाड़ी चलाना, समय सूचक में निर्धारित समय न डालना जिससे पक रहा भोजन जल जाए, अपनी बैंक की चेकबुक में उपलब्ध राशि का गलत हिसाब रखना, आदि। परन्तु कुछ जान-बूझकर किए गए कार्य होते हैं जो ‘गलती’ से कहीं बढ़कर होते हैं, और परमेश्वर उन्हें पाप कहता है।

      परमेश्वर के वचन बाइबल में भी इस बात के कई उदाहरण हैं जहाँ परमेश्वर के लोगों ने गलतियाँ करीं और फिर उनके लिए बहाने बना दिए। जब परमेश्वर ने आदम और हव्वा से पूछा कि उन्होंने उसकी अनाज्ञाकारिता क्यों की, तो तुरंत ही उन्होंने दूसरे को दोषी ठहराने का प्रयास किया (उत्पत्ति 3:8-13)। जब इस्राएलियों ने सुनहरा बछड़ा बनाकर उसकी उपासना करना आरंभ किया तो हारून ने अपना कोई दायित्व स्वीकार नहीं किया, परन्तु मूसा से कहा, “तब मैं ने उन से कहा, जिस जिसके पास सोने के गहनें हों, वे उन को तोड़कर उतार लाएं; और जब उन्होंने मुझ को दिया, मैं ने उन्हें आग में डाल दिया, तब यह बछड़ा निकल पड़ा” (निर्गमन 32:24)। शायद वह बुदबुदाया भी होगा, “गलतियाँ तो हुई हैं”।

      बहुधा अपनी गलती मान लेने की बजाए दूसरे पर दोष मढ़ देना अधिक सरल होता है। उतना ही बुरा अपने पाप को कम करके, उसकी वास्तविकता को स्वीकार करने की बजाए, उसे “गलती मात्र” कहना होता है। परन्तु जब हम परमेश्वर के समक्ष अपने पाप को मानकर उसके लिए दायित्व स्वीकार करते हैं, उससे क्षमा प्रार्थी होते हैं, तो वह हमें क्षमा करता है और बहाल भी करता है (1 यूहन्ना 1:9)। - सिंडी हैस कैस्पर


परमेश्वर से क्षमा प्राप्त करने के लिए प्रथम कदम होता है
 उस क्षमा की आवश्यकता को स्वीकार करना।

यदि हम अपने पापों को मान लें, तो वह हमारे पापों को क्षमा करने, और हमें सब अधर्म से शुद्ध करने में विश्वासयोग्य और धर्मी है। - 1 यूहन्ना 1:9

बाइबल पाठ: निर्गमन 32:1-5, 19-26
Exodus 32:1 जब लोगों ने देखा कि मूसा को पर्वत से उतरने में विलम्ब हो रहा है, तब वे हारून के पास इकट्ठे हो कर कहने लगे, अब हमारे लिये देवता बना, जो हमारे आगे आगे चले; क्योंकि उस पुरूष मूसा को जो हमें मिस्र देश से निकाल ले आया है, हम नहीं जानते कि उसे क्या हुआ?
Exodus 32:2 हारून ने उन से कहा, तुम्हारी स्त्रियों और बेटे बेटियों के कानों में सोने की जो बालियां है उन्हें तोड़कर उतारो, और मेरे पास ले आओ।
Exodus 32:3 तब सब लोगों ने उनके कानों से सोने की बालियों को तोड़कर उतारा, और हारून के पास ले आए।
Exodus 32:4 और हारून ने उन्हें उनके हाथ से लिया, और एक बछड़ा ढालकर बनाया, और टांकी से गढ़ा; तब वे कहने लगे, कि हे इस्त्राएल तेरा परमेश्वर जो तुझे मिस्र देश से छुड़ा लाया है वह यही है।
Exodus 32:5 यह देखके हारून ने उसके आगे एक वेदी बनवाई; और यह प्रचार किया, कि कल यहोवा के लिये पर्ब्ब होगा।
Exodus 32:19 छावनी के पास आते ही मूसा को वह बछड़ा और नाचना देख पड़ा, तब मूसा का कोप भड़क उठा, और उसने तख्तियों को अपने हाथों से पर्वत के नीचे पटककर तोड़ डाला।
Exodus 32:20 तब उसने उनके बनाए हुए बछड़े को ले कर आग में डाल के फूंक दिया। और पीसकर चूर चूर कर डाला, और जल के ऊपर फेंक दिया, और इस्त्राएलियों को उसे पिलवा दिया।
Exodus 32:21 तब मूसा हारून से कहने लगा, उन लोगों ने तुझ से क्या किया कि तू ने उन को इतने बड़े पाप में फंसाया?
Exodus 32:22 हारून ने उत्तर दिया, मेरे प्रभु का कोप न भड़के; तू तो उन लोगों को जानता ही है कि वे बुराई में मन लगाए रहते हैं।
Exodus 32:23 और उन्होंने मुझ से कहा, कि हमारे लिये देवता बनवा जो हमारे आगे आगे चले; क्योंकि उस पुरूष मूसा को, जो हमें मिस्र देश से छुड़ा लाया है, हम नहीं जानते कि उसे क्या हुआ?
Exodus 32:24 तब मैं ने उन से कहा, जिस जिसके पास सोने के गहनें हों, वे उन को तोड़कर उतार लाएं; और जब उन्होंने मुझ को दिया, मैं ने उन्हें आग में डाल दिया, तब यह बछड़ा निकल पड़ा
Exodus 32:25 हारून ने उन लोगों को ऐसा निरंकुश कर दिया था कि वे अपने विरोधियों के बीच उपहास के योग्य हुए,
Exodus 32:26 उन को निरंकुश देखकर मूसा ने छावनी के निकास पर खड़े हो कर कहा, जो कोई यहोवा की ओर का हो वह मेरे पास आए; तब सारे लेवीय उस के पास इकट्ठे हुए।  

एक साल में बाइबल:  
  • व्यवस्थाविवरण 8-10
  • मरकुस 11:19-33