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मंगलवार, 27 दिसंबर 2016

निकल आना


   एक बार जब हमारा परिवार यात्रा में था, तो यात्रा के दौरान जिस स्थान पर जहाँ हम पहुँचे ही थे, वहाँ भीषण चक्रवादी तूफान आने की चेतावनी ज़ारी की गई। हमारे लिए अचानक ही सब कुछ बदल गया क्योंकि हमें लगा कि हमारे बच्चे खतरे में हैं।

   मैंने इस घटना का उल्लेख इसलिए किया है जिससे कि हम समझ सकें कि यूसुफ और मरियम के लिए कैसा रहा होगा जब वे अपने साथ छोटे बालक यीशु को लेकर मिस्त्र को गए। उन पर किसी चक्रवादी तूफान नहीं वरन राजा हेरोदेस का खतरा था, जो उनके बालक को मार डालना चाहता था। कल्पना कीजिए कि उनके लिए कितना भयावह रहा होगा, यह जानते हुए यात्रा करते जाना कि "...हेरोदेस इस बालक को ढूंढ़ने पर है कि उसे मरवा डाले" (मत्ती 2:13)।

   सामान्यतः हम क्रिसमस के समय का बड़ा साधारण और सुचारू दृष्टिकोण रखते हैं - शान्तिमय दृश्य में रंभाते हुए गाय-बैल, प्रभु यीशु की चरनी के पास दण्डवत करते हुए चरवाहे, आदि। परन्तु प्रभु यीशु के परिवार के लिए, हेरोदेस के भय से भागते हुए, ऐसी कोई शान्ति नहीं थी। जब तक स्वर्गदूत ने उन्हें सुरक्षित हो जाने तथा मिस्त्र से निकल आने के लिए नहीं कहा वे वापस अपने घर नासरत नहीं आ सके (पद 20-23)।

   प्रभु यीशु के देहधारण करने के लिए हमारे अन्दर कैसी श्रद्धा होनी चाहिए; वह प्रभु जो अपने पिता परमेश्वर के साथ स्वर्ग की महिमा का पात्र था, उस स्वर्गीय महिमा को छोड़कर पृथ्वी पर आ गया, उसने निर्धनता में जन्म लिया, यद्यपि वह सदा ही सच्चा, खरा और निर्दोष था और सबका भला करता था फिर भी उसने जीवन में अनेकों कठिन परिस्थितियों, झूठे दोषारोपणों और प्राण के खतरों का सामना किया, और अन्ततः हमारे पापों की क्षमा तथा उद्धार के लिए स्वेच्छा से क्रूस पर बलिदान हो गया।

   मिस्त्र से निकल आना तो एक बात है, परन्तु स्वर्ग की महिमा और आदर छोड़कर हम पापी मनुष्यों के लिए अपमानित होने और मारे जाने के लिए निकल आना और ही बात है - यही इस घटना का महान और विलक्षण भाग है। - डेव ब्रैनन


प्रभु यीशु हमारे लिए पृथ्वी पर आ गया जिससे हम उसके साथ स्वर्ग जा सकें।

किसी धर्मी जन के लिये कोई मरे, यह तो र्दुलभ है, परन्तु क्या जाने किसी भले मनुष्य के लिये कोई मरने का भी हियाव करे। परन्तु परमेश्वर हम पर अपने प्रेम की भलाई इस रीति से प्रगट करता है, कि जब हम पापी ही थे तभी मसीह हमारे लिये मरा। - रोमियों 5:7-8

बाइबल पाठ: मत्ती 2:13-23
Matthew 2:13 उन के चले जाने के बाद देखो, प्रभु के एक दूत ने स्‍वप्‍न में यूसुफ को दिखाई देकर कहा, उठ; उस बालक को और उस की माता को ले कर मिस्र देश को भाग जा; और जब तक मैं तुझ से न कहूं, तब तक वहीं रहना; क्योंकि हेरोदेस इस बालक को ढूंढ़ने पर है कि उसे मरवा डाले। 
Matthew 2:14 वह रात ही को उठ कर बालक और उस की माता को ले कर मिस्र को चल दिया। 
Matthew 2:15 और हेरोदेस के मरने तक वहीं रहा; इसलिये कि वह वचन जो प्रभु ने भविष्यद्वक्ता के द्वारा कहा था कि मैं ने अपने पुत्र को मिस्र से बुलाया पूरा हो। 
Matthew 2:16 जब हेरोदेस ने यह देखा, कि ज्योतिषियों ने मेरे साथ ठट्ठा किया है, तब वह क्रोध से भर गया; और लोगों को भेज कर ज्योतिषियों से ठीक ठीक पूछे हुए समय के अनुसार बैतलहम और उसके आस पास के सब लड़कों को जो दो वर्ष के, वा उस से छोटे थे, मरवा डाला। 
Matthew 2:17 तब जो वचन यिर्मयाह भविष्यद्वक्ता के द्वारा कहा गया था, वह पूरा हुआ, 
Matthew 2:18 कि रामाह में एक करूण-नाद सुनाई दिया, रोना और बड़ा विलाप, राहेल अपने बालकों के लिये रो रही थी, और शान्‍त होना न चाहती थी, क्योंकि वे हैं नहीं।
Matthew 2:19 हेरोदेस के मरने के बाद देखो, प्रभु के दूत ने मिस्र में यूसुफ को स्‍वप्‍न में दिखाई देकर कहा। 
Matthew 2:20 कि उठ, बालक और उस की माता को ले कर इस्राएल के देश में चला जा; क्योंकिं जो बालक के प्राण लेना चाहते थे, वे मर गए। 
Matthew 2:21 वह उठा, और बालक और उस की माता को साथ ले कर इस्राएल के देश में आया। 
Matthew 2:22 परन्तु यह सुनकर कि अरिखलाउस अपने पिता हेरोदेस की जगह यहूदिया पर राज्य कर रहा है, वहां जाने से डरा; और स्‍वप्‍न में चितौनी पाकर गलील देश में चला गया। 
Matthew 2:23 और नासरत नाम नगर में जा बसा; ताकि वह वचन पूरा हो, जो भविष्यद्वक्ताओं के द्वारा कहा गया था, कि वह नासरी कहलाएगा।

एक साल में बाइबल: 
  • ज़कर्याह 1-4
  • प्रकाशितवाक्य 18