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सोमवार, 21 मार्च 2016

पहचान


   जब मेरे सबसे छोटे भाई स्कौट का जन्म हुआ तब मैं सीनियर हाई स्कूल में था। हम दोनों में उम्र के इस अन्तर के कारण, उसके बड़े होकर कॉलेज जाने के समय में एक रोचक परिस्थिति हो गई; जब मैं और हमारी माँ उसे कॉलेज में दाखिले के लिए लेकर गए तो जिससे भी हम मिल रहे थे सब यही यह समझते थे कि मैं स्कौट का पिता और हमारी माँ उसकी दादी हैं। अन्ततः हमने लोगों की इस भ्रांति को ठीक करना बन्द कर दिया, क्योंकि हमारे हर प्रयास के बावजूद लोगों को यह समझा पाना कठिन हो रहा था कि परस्पर हमारी पहचान वह नहीं है जैसी वे समझ रहे हैं।

   प्रभु यीशु ने धर्म के अगुवे फरीसियों से, उनकी नज़र में, अपनी पहचान के बारे में प्रश्न पूछा (मत्ती 22:42): "कि मसीह के विषय में तुम क्या समझते हो? वह किस का सन्तान है?" उन फरीसियों का उत्तर था, "उन्होंने उस से कहा, दाऊद का"। इस्त्राएल के लोगों के लिए परमेश्वर द्वारा वाचा किए गए मसीहा की पहचान रखना बहुत महत्वपूर्ण था, और इस संदर्भ में फरीसियों का उत्तर सही तो था परन्तु अधूरा था। परमेश्वर का वचन यह स्पष्ट बताता था कि आने वाला मसीहा आकर अपने पूर्वज पिता दाऊद का सिंहासन संभालेगा, और फरिसियों ने इसी आधार पर उत्तर दिया था; परन्तु प्रभु यीशु को उन फरीसियों को यह भी स्मरण दिलाना पड़ा कि दाऊद अपने वंश में होकर आने वाले जगत के उस उद्धारकर्ता को स्वयं भी "प्रभु" कहकर ही संबोधित करता है - और यह बात वे फरीसी बोल नहीं रहे थे।

   प्रभु यीशु ने अपनी पहचान के बारे में यही प्रश्न अपने चेलों से भी किया, और पतरस ने सही उत्तर देते हुए कहा, "...तू जीवते परमेश्वर का पुत्र मसीह है" (मत्ती 16:16)। आज भी प्रभु यीशु की पहचान से संबंधित यह प्रश्न उतना ही महत्वपूर्ण है। प्रभु यीशु की सही पहचान को जाने तथा माने बिना उसके प्रति सही रवैया, उसके साथ सही संबंध रखना असंभव है। अनन्त जीवन के मार्ग के लिए यीशु को अपना उद्धारकर्ता तथा जीवन का प्रभु स्वीकार करना अनिवार्य है। - बिल क्राउडर


प्रभु यीशु की गलत पहचान रखने से अधिक घातक कोई अन्य गलती नहीं है।

परन्तु जितनों ने उसे ग्रहण किया, उसने उन्हें परमेश्वर के सन्तान होने का अधिकार दिया, अर्थात उन्हें जो उसके नाम पर विश्वास रखते हैं। - यूहन्ना 1:12

बाइबल पाठ: मत्ती 16:13-20
Matthew 16:13 यीशु कैसरिया फिलिप्पी के देश में आकर अपने चेलों से पूछने लगा, कि लोग मनुष्य के पुत्र को क्या कहते हैं? 
Matthew 16:14 उन्होंने कहा, कितने तो यूहन्ना बपतिस्मा देने वाला कहते हैं और कितने एलिय्याह, और कितने यिर्मयाह या भविष्यद्वक्ताओं में से कोई एक कहते हैं। 
Matthew 16:15 उसने उन से कहा; परन्तु तुम मुझे क्या कहते हो? 
Matthew 16:16 शमौन पतरस ने उत्तर दिया, कि तू जीवते परमेश्वर का पुत्र मसीह है। 
Matthew 16:17 यीशु ने उसको उत्तर दिया, कि हे शमौन योना के पुत्र, तू धन्य है; क्योंकि मांस और लोहू ने नहीं, परन्तु मेरे पिता ने जो स्वर्ग में है, यह बात तुझ पर प्रगट की है। 
Matthew 16:18 और मैं भी तुझ से कहता हूं, कि तू पतरस है; और मैं इस पत्थर पर अपनी कलीसिया बनाऊंगा: और अधोलोक के फाटक उस पर प्रबल न होंगे। 
Matthew 16:19 मैं तुझे स्वर्ग के राज्य की कुंजियां दूंगा: और जो कुछ तू पृथ्वी पर बान्‍धेगा, वह स्वर्ग में बन्‍धेगा; और जो कुछ तू पृथ्वी पर खोलेगा, वह स्वर्ग में खुलेगा। 
Matthew 16:20 तब उसने चेलों को चिताया, कि किसी से न कहना! कि मैं मसीह हूं। 

एक साल में बाइबल: 
  • यहोशु 7-9
  • लूका 1:21-38