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शनिवार, 14 अप्रैल 2012

अदृश्य सेवक

   मैं अपने हाथों के नाखून साफ करने और संवारने में लगी हुई थी, मेरा ध्यान अपने दोनो हाथों के कार्यों के प्रति गया, और मुझे अपने दाहिने हाथ पर दया आई। मेरा दाहिना हाथ ही सबसे अधिक कार्य करता है, किंतु मेरे बाएं हाथ को अधिक प्रशंसा मिलती है! मेरा दाहिना हाथ, बाएं हाथ के नाखूनों पर कुशलता और सुन्दरता से पॉलिश लगाता है, उनकी सफाई करता है और उन्हें सुन्दर बना के रखता है; मेरे बाएं हाथ में यह निपुणता नहीं है, इसलिए दाहिने हाथ के लिए प्रत्युत्तर में वह वैसे कार्य ही नहीं कर पाता। बाएं हाथ से दाहिने हाथ पर लगी पॉलिश बिखरी हुई और असमान होती है, इसलिए कम निपुण बाएं हाथ की अपेक्षा, निपुण और कार्यकुशल दाहिना हाथ देखने में भद्दा, और बांया हाथ सुन्दर प्रतीत होता है। काम कोई करता है, प्रशंसा का पात्र कोई और बन जाता है।

   इन बातों के बारे में सोचते सोचते, मेरा ध्यान इसी से संबंधित एक और बात की ओर गया - मेरे चर्च के लोगों की ओर। जहां मैं आराधना के लिए जाती हूँ उस चर्च में बहुत से लोग हैं जो अपने कौशल और मेहनत के द्वारा दूसरों के लिए जीवन आसान कर देते हैं। किंतु ये मेहनती लोग शायद ही कभी किसी की नज़रों में आते हों, क्योंकि वे ऐसे काम करते हैं कि लोगों का ध्यान उनकी बजाए किसी अन्य की ओर जाता है। यह अनुचित लगता है कि इतनी मेहनत कोई करे और फिर उसे, प्रशंसा तो दूर, कोई पहिचान भी ना मिले।

   किंतु वे मसीही विश्वासी जो वास्तव में सेवा-भाव से कार्य करते हैं, इस नज़रिए से इन बातों को नहीं देखते। वे सदा दूसरों को महत्व देते हैं (रोमियों १२:१०), क्योंकि वे जानते हैं कि परमेश्वर वह देखता है जो मनुष्य नहीं देखता - और सही समय पर उन्हें परमेश्वर से अपना प्रतिफल भी भरपूरी से मिलेगा (मत्ती ६:४, ६, १८; १ कुरिन्थियों १२:२४)।

   क्या आज आप इस बात को लेकर दुखी हैं कि आपकी कड़ी मेहनत का श्रेय और प्रशंसा कोई और ले रहा है? निराश मत हों, धैर्य रखें। परमेश्वर हर बात का हिसाब रखता है, और न्याय तथा धार्मिकता के साथ हर बात का हिसाब चुकाएगा भी। मसीह का कोई भी अदृश्य सेवक अपने प्रतिफल से कभी भी वंचित न रहेगा। - जूली ऐकैरमैन लिंक


मसीह के लिए किए गए किसी भी कार्य की उपेक्षा नहीं होती।

तू मेरे मारे मारे फिरने का हिसाब रखता है; तू मेरे आंसुओं को अपनी कुप्पी में रख ले! क्या उनकी चर्चा तेरी पुस्तक में नहीं है? - भजन ५६:८
बाइबल पाठ: रोमियों १२:१-११
Rom 12:1  इसलिये हे भाइयों, मैं तुम से परमेश्वर की दया स्मरण दिला कर बिनती करता हूं, कि अपने शरीरों को जीवित, और पवित्र, और परमेश्वर को भावता हुआ बलिदान कर के चढ़ाओ: यही तुम्हारी आत्मिक सेवा है।
Rom 12:2 और इस संसार के सदृश न बनो, परन्‍तु तुम्हारी बुद्धि के नये हो जाने से तुम्हारा चाल-चलन भी बदलता जाए, जिस से तुम परमेश्वर की भली, और भावती, और सिद्ध इच्‍छा अनुभव से मालूम करते रहो।
Rom 12:3 क्‍योंकि मैं उस अनुग्रह के कारण जो मुझ को मिला है, तुम में से हर एक से कहता हूं, कि जैसा समझना चाहिए, उस से बढ़ कर कोई भी अपने आप को न समझे पर जैसा परमेश्वर ने हर एक को परिमाण के अनुसार बांट दिया है, वैसा ही सुबुद्धि के साथ अपने को समझे।
Rom 12:4 क्‍योंकि जैसे हमारी एक देह में बहुत से अंग हैं, और सब अंगों का एक ही सा काम नहीं।
Rom 12:5  वैसा ही हम जो बहुत हैं, मसीह में एक देह हो कर आपस में एक दूसरे के अंग हैं।
Rom 12:6  और जब कि उस अनुग्रह के अनुसार जो हमें दिया गया है, हमें भिन्न भिन्न वरदान मिले हैं, तो जिस को भविष्यद्वाणी का दान मिला हो, वह विश्वास के परिमाण के अनुसार भविष्यद्वाणी करे।
Rom 12:7  यदि सेवा करने का दान मिला हो, तो सेवा में लगा रहे, यदि कोई सिखाने वाला हो, तो सिखाने में लगा रहे।
Rom 12:8 जो उपदेशक हो, वह उपदेश देने में लगा रहे, दान देने वाला उदारता से दे, जो अगुआई करे, वह उत्‍साह से करे, जो दया करे, वह हर्ष से करे।
Rom 12:9 प्रेम निष्‍कपट हो, बुराई से घृणा करो, भलाई मे लगे रहो।
Rom 12:10 भाईचारे के प्रेम से एक दूसरे पर दया रखो; परस्‍पर आदर करने में एक दूसरे से बढ़ चलो।
Rom 12:11 प्रयत्‍न करने में आलसी न हो; आत्मिक उन्माद में भरो रहो, प्रभु की सेवा करते रहो।
एक साल में बाइबल: 
  • १ शमूएल २५-२६ 
  • लूका १२:३२-५९

शुक्रवार, 13 अप्रैल 2012

सदैव जागरूक

   सभी स्तनधारी जीवों में, जिराफ सबसे कम सोता है। जिराफ के सोने का समय, २४ घंटों में से १०मिनिट से २ घंटे के बीच, और औसतन १.९ घंटे प्रतिदिन का ही होता है। लगभग लगातार ही जागते रहने वाले इस जीव की हम मनुष्यों के साथ इस मामले में कोई समानता नहीं है। यदि किसी मनुष्य में इतना कम सोने की प्रवृति हो तो उसे अनिद्रारोग (Insomnia) माना जाता है और चिकित्सा लेने की आवश्यक्ता पड़ती है। किंतु जिराफ के लिए यह "कम" सोना कोई रोग नहीं है, परमेश्वर ने उसे ऐसा ही बनाया है, यह उसके लिए सामन्य है।

   यदि आप सोचते हैं कि २४ में से केवल १.९ घंटे की नींद कोई खास नींद नहीं है, तो अपने सृष्टिकर्ता परमेश्वर के बारे में सोचिए जो कभी नहीं सोता, सदा अपनी सृष्टि के लिए जागरूक रहता है।

   हमारे प्रति परमेश्वर के लगातार बने रहने वाले ध्यान के लिए परमेश्वर के वचन बाइबल में भजनकार कहता है, "वह तेरे पांव को टलने न देगा, तेरा रक्षक कभी न ऊंघेगा" (भजन १२१:३)। इस भजन में भजनकार स्पष्ट करता है कि परमेश्वर का यह सदैव जागरूक रहना हमारी भलाई के लिए है। इसी भजन के ५वें पद में भजनकार परमेश्वर को हमारा रक्षक बताता है। परमेश्वर हमें संभाले रहता है, हमारी चिंता करता है, हमारी रक्षा करता है। हमारा सदैव जागरूक परमेश्वर सदैव हमारी भलाई ही में लगा रहता है। एक स्तुति गीत में जैसे गीतकार ने लिखा: "वह ना कभी सोता है, ना कभी ऊँघता है; वह रात-दिन मेरी रखवाली करता है"।

   क्या आज आप परेशानियों का सामना कर रहे हैं? उसकी ओर मुड़िए जो आपके लिए सदैव जागरूक रहता है। अपना जीवन और अपने जीवन का हर पल उस परमेश्वर के हाथों में समर्पित कर दीजिए क्योंकि, "यहोवा तेरे आने जाने में तेरी रक्षा अब से लेकर सदा तक करता रहेगा" (भजन १२१:८)। - बिल क्राउडर


वह जो सृष्टि को थामे और संभाले हुए है, आपको भी कभी अस्थिर होने या गिरने नहीं देगा।

वह तेरे पांव को टलने न देगा, तेरा रक्षक कभी न ऊंघेगा। - भजन १२१:३
 
बाइबल पाठ: भजन १२१
Psa 121:1  मैं अपनी आंखें पर्वतों की ओर लगाऊंगा। मुझे सहायता कहां से मिलेगी?
Psa 121:2  मुझे सहायता यहोवा की ओर से मिलती है, जो आकाश और पृथ्वी का कर्त्ता है।
Psa 121:3  वह तेरे पांव को टलने न देगा, तेरा रक्षक कभी न ऊंघेगा।
Psa 121:4  सुन, इस्राएल का रक्षक, न ऊंघेगा और न सोएगा।
Psa 121:5  यहोवा तेरा रक्षक है; यहोवा तेरी दहिनी ओर तेरी आड़ है।
Psa 121:6  न तो दिन को धूप से, और न रात को चांदनी से तेरी कुछ हानि होगी।
Psa 121:7  यहोवा सारी विपत्ति से तेरी रक्षा करेगा; वह तेरे प्राण की रक्षा करेगा।
Psa 121:8  यहोवा तेरे आने जाने में तेरी रक्षा अब से लेकर सदा तक करता रहेगा।
 
एक साल में बाइबल: 
  • १ शमूएल २२-२४ 
  • लूका १२:१-३१

गुरुवार, 12 अप्रैल 2012

सच्ची गलती

   मैं परेशानी में था। मैं घर के लिए खरीददारी करने एक दुकान में आया हुआ था, मेरे हाथ में मेरी पत्नी के द्वारा खरीदने की वस्तुओं की सूची थी, और मैं दुकान की अल्मारियों और शेल्फ से सुची के अनुसार चीज़ें लेकर अपने साथ रखता जा रहा था। अब एक चीज़ पर आकर मैं अटक गया था। सूची में लिखा था "सोया", और मेरे सामने दुकान में "सोया" के अनेक प्रकार और "सोया" से बनी कई वस्तुएं पड़ीं थीं, और मुझे समझ नहीं आ रहा था कि मेरी पत्नी का तात्पर्य किस "सोया" से था। मैंने वहां कार्य करने वाले एक कर्मचारी से भी सहायता के लिए पूछा, फिर अपनी समझ के अनुसार "सोया सौस" उठाया और आगे चल दिया। घर पहुंच कर ही मुझे मालूम पड़ा कि मेरी पत्नी को "सोया सौस" की नहीं, वरन हमारी पोती के लिए "सोया दूध" की आवश्यकता थी। लेकिन अब तो बहुत देर हो चुकी थी।

   मैं अपने प्रयास में सच्चा था, मैंने असमंजस के समय सहायता भी ली, और मैंने जो निर्णय लिया वह मेरी समझ में सही भी था, लेकिन फिर भी मैं गलत था। किंतु अब मेरी इस गलती के एहसास से ना मुझे कोई लाभ था और ना ही मेरी पोती के लिए मेरा यह एहसास किसी रीति से उपयोगी था। यदि मैंने अपने असमंजस के समय दुकान के कर्मचारी की बजाए अपनी पत्नि से सहायता ली होती और अपनी समझ का सहारा लेने की बजाए, जिसके लिए मैं दुकान में था उससे पूछा होता, तो बात कुछ और होती और यह गलती होने से पहले ही सुधर जाती।

   ऐसी ही "सच्ची गलतीयाँ" आज संसार में अनेकों लोग कर रहे हैं। वे इस पृथ्वी की अपनी यात्रा में स्वर्ग का मार्ग ढूंढ़ रहे हैं, किंतु जो उन्हें स्वर्ग पहुँचा सके उसे पहिचान और मान नहीं रहे हैं। उनकी लालसा सच्ची है, उनके प्रयास खरे हैं, वे सच्चे मन से अपनी नज़रों में सही लगने वालों से सहायता भी ले रहे हैं, लेकिन फिर भी वे गलत हैं। उस दुकान में मेरे ही समान करी गई गलती को वे भी दोहरा रहे हैं, सच्चे परमेश्वर को पुकारने की बजाए, वे भी अपनी समझ का ही सहारा ले रहें; धर्म और धर्म के कामों, दान-पुण्य, तीर्थ यात्रा और भले कार्यों, रीति-रिवाज़ों के पालन इत्यादि के द्वारा वे वहाँ पहुंचना चाहते हैं जहाँ का इन बातों से कोई सरोकार ही नहीं है। उनकी इस गलती का परिणाम भी उनके लिए, मेरी गलती के परिणाम के समान ही होगा - जब हकीकत का एहसास होगा और सच्चाई सामने आएगी, तब तक बहुत देर हो चुकी होगी; गलती का एहसास किसी लाभ का नहीं होगा और गलती पलटी नहीं जा सकेगी।

   प्रभु यीशु ने कहा, "मार्ग और सच्‍चाई और जीवन मैं ही हूं; बिना मेरे द्वारा कोई पिता के पास नहीं पहुंच सकता" (यूहन्ना १४:६)। परमेश्वर के वचन बाइबल में प्रभु यीशु के और इस बात के सम्दर्भ में लिखा है कि, "और किसी दूसरे के द्वारा उद्धार नहीं; क्‍योंकि स्‍वर्ग के नीचे मनुष्यों में और कोई दूसरा नाम नहीं दिया गया, जिस के द्वारा हम उद्धार पा सकें" (प्रेरितों ४:१२)।

   किसी अन्य या अन्य बात पर विश्वास करने की "सच्ची गलती" ना करें; केवल प्रभु यीशु ही है जिसने आप के पापों का दण्ड अपने ऊपर ले लिया और उनके प्रायश्चित के लिए अपनी जान दे दी। केवल वही है जो कहता है "हे सब परिश्रम करने वालों और बोझ से दबे लोगों, मेरे पास आओ; मैं तुम्हें विश्रम दूंगा" (मत्ती ११:२८)। केवल वही है जिसके लिए लिखा है कि जो कोई उस पर विश्वास करेगा वह नाश ना होगा वरन अनन्त जीवन पाएगा (यूहन्ना ३:१६)।

    प्रभु यीशु को अपना के आज ही अपना भविष्य सुनिश्चित कर लें। - डेव ब्रैनन


स्वर्ग का एकमात्र मार्ग प्रभु यीशु ही है।
और किसी दूसरे के द्वारा उद्धार नहीं; क्‍योंकि स्‍वर्ग के नीचे मनुष्यों में और कोई दूसरा नाम नहीं दिया गया, जिस के द्वारा हम उद्धार पा सकें। - प्रेरितों ४:१२
बाइबल पाठ: यूहन्ना १४:१-६
Joh 14:1  तुम्हारा मन व्याकुल न हो, तुम परमेश्वर पर विश्वास रखते हो मुझ पर भी विश्वास रखो।
Joh 14:2  मेरे पिता के घर में बहुत से रहने के स्थान हैं, यदि न होते, तो मैं तुम से कह देता क्‍योंकि मैं तुम्हारे लिये जगह तैयार करने जाता हूं।
Joh 14:3  और यदि मैं जाकर तुम्हारे लिये जगह तैयार करूं, तो फिर आकर तुम्हें अपके यहां ले जाऊंगा, कि जहां मैं रहूं वहां तुम भी रहो।
Joh 14:4  और जहां मैं जाता हूं तुम वहां का मार्ग जानते हो।
Joh 14:5  थोमा ने उस से कहा, हे प्रभु, हम नहीं जानते कि तू हां जाता है तो मार्ग कैसे जानें?
Joh 14:6 यीशु ने उस से कहा, मार्ग और सच्‍चाई और जीवन मैं ही हूं; बिना मेरे द्वारा कोई पिता के पास नहीं पहुंच सकता।
एक साल में बाइबल: 
  • १ शमूएल १९-२१ 
  • लूका ११:२९-५४

बुधवार, 11 अप्रैल 2012

स्मारक

   भारत में स्थित ताजमहल एक भव्य मकबरा है, सफेद संगमरमर से बना यह स्मारक बादशाह शाहजहां ने अपनी पत्नी की याद में बनवाया था। इसके बनने में २२ वर्ष लगे और आज भी हर साल लाखों सैलानी एक शहनशाह द्वारा अपने पत्नी के प्रति अपने प्रेम की यादगार, इस सुन्दर कब्र को देखने देश विदेश से आते हैं।

   यरुशलेम में भी एक और कब्र है, एक खाली कब्र, जिसे देखने के लिए भी हर साल लाखों सैलानी जाते हैं, जो मानव जाति के प्रति परमेश्वर के प्रेम को स्मरण दिलाती है। यह कब्र प्रभु यीशु की कब्र मानी जाती है। प्रभु यीशु चाहे जिस भी कब्र में रहे हों, वे केवल थोड़े से समय के लिए ही उस में रहे थे। उनके मृतकों में से पुरुत्थान के बाद, पिछले २००० वर्षों से, उनकी कब्र खाली पड़ी है।

   प्रभु यीशु ने किसी पार्थिव या नाशमान वस्तु से अपने लिए बने किसी स्मारक की इच्छा कभी नहीं रखी। वरन, उन्होंने स्वयं ही अपना स्मारक अपने अनुयायियों को बना के दे दिया और उन्हें निर्देश दिए कि उनके पुनः आगमन तक उस यादगार को मनाते रहें। यह स्मारक है उनके द्वारा स्थापित किया गया प्रभु भोज। जिस रात उन्हें पकड़वाया गया, उन्होंने रोटी ली और परमेश्वर को धन्यवाद कर के उसे तोड़ा और अपने चेलों को दे दिया और फिर प्याला भी लिया और परमेश्वर का धन्यवाद करके उसे भी चेलों को दे दिया (लूका २२:१४-२१), और कहा कि उनके दोबारा आने तक यही करते रहें।

   चर्च में प्रभु यीशु के विश्वासी अनुयायी जब कभी प्रभु भोज में सम्मिलित हों, उनके लिए प्रभु के निर्देश हैं कि वे पहले अपने आप को जाँच लें (१ कुरिन्थियों ११:२८), और बीते दिनों के अपने पाप, गलतियां प्रभु यीशु के सामने मानते और उनसे पश्चाताप करते हुए ही इसमें सम्मिलित हों। प्रभु यीशु के विश्वासी जब इस प्रभु भोज में सम्मिलित होते हैं तो वे उस पवित्र प्रभु की देह और लहु के स्मारकों में सम्मिलित होते हैं, उन स्मारकों को अपनी देह और लहु के साथ सम्मिलित करते हैं, इसलिए यह जांचने और पश्चाताप करने की बात अति अनिवार्य और महत्वपूर्ण है।

   प्रभु यीशु का स्मारक कोई रीति-रिवाज़ नहीं है जिसमें सैलानियों के समान किसी को भी, किसी भी और मनमानी रीति से सम्भागी होने की छूट हो। यह बहुत गंभीरता और श्रद्धा के साथ संभागी होने वाला स्मारक है, जिसमें सम्मिलित होने की जवाबदेही भी है; ऐसी जवाबदेही जो परमेश्वर स्वयं लेता है।

   प्रभु यीशु ने जो हमारे लिए किया, उसका एक स्थायी स्मारक भी हमें दे दिया। उसके इस महान प्रेम और बलिदान के महत्व और गंभीरता को सदा स्मरण रखें। - सी. पी. हीया


प्रभु भोज - प्रभु द्वारा अपने चेलों के लिए छोड़ा गया प्रेम और बलिदान का स्मारक।
 
क्‍योंकि जब कभी तुम यह रोटी खाते, और इस कटोरे में से पीते हो, तो प्रभु की मृत्यु को जब तक वह न आए, प्रचार करते हो। - १ कुरिन्थियों ११:२६
 
बाइबल पाठ: १ कुरिन्थियों ११:२३-३२
1Co 11:23  क्‍योंकि यह बात मुझे प्रभु से पहुंची, और मैं ने तुम्हें भी पहुंचा दी, कि प्रभु यीशु ने जिस रात पकड़वाया गया रोटी ली।
1Co 11:24  और धन्यवाद करके उसे तोड़ी, और कहा, कि यह मेरी देह है, जो तुम्हारे लिये है: मेरे स्मरण के लिये यही किया करो।
1Co 11:25  इसी रीति से उस ने बियारी के पीछे कटोरा भी लिया, और कहा, यह कटोरा मेरे लोहू में नई वाचा है: जब कभी पीओ, तो मेरे स्मरण के लिये यही किया करो।
1Co 11:26 क्‍योंकि जब कभी तुम यह रोटी खाते, और इस कटोरे में से पीते हो, तो प्रभु की मृत्यु को जब तक वह न आए, प्रचार करते हो।
1Co 11:27  इसलि्ये जो कोई अनुचित रीति से प्रभु की रोटी खाए, या उसके कटोरे में से पीए, वह प्रभु की देह और लोहू का अपराधी ठहरेगा।
1Co 11:28  इसलिये मनुष्य अपने आप को जांच ले और इसी रीति से इस रोटी में से खाए, और इस कटोरे में से पीए।
1Co 11:29 क्‍योंकि जो खाते-पीते समय प्रभु की देह को न पहिचाने, वह इस खाने और पीने से अपने ऊपर दण्‍ड लाता है।
1Co 11:30  इसी कारण तुम में से बहुत से निर्बल और रोगी हैं, और बहुत से सो भी गए।
1Co 11:31 यदि हम अपने आप में जांचते, तो दण्‍ड न पाते।
1Co 11:32 परन्‍तु प्रभु हमें दण्‍ड देकर हमारी ताड़ना करता है इसलि्ये कि हम संसार के साथ दोषी न ठहरें।
 
एक साल में बाइबल: 
  • १ शमूएल १७-१८ 
  • लूका ११:१-२८

मंगलवार, 10 अप्रैल 2012

सही रवैया

   परमेश्वर के वचन बाइबल के खंड, पुराने नियम, की सबसे छोटी पुस्तक है ओबद्याह। इस छोटी सी पुस्तक के पदों में एक बड़े प्रश्न का उत्तर है; एक ऐसा प्रश्न जो सभी के लिए महत्वपूर्ण है - जब हमारा कोई शत्रु किसी दुर्भाग्यपूर्ण घटना का शिकार हो तो हमारी प्रतिक्रीया कैसी होनी चाहिए?

   ओबद्याह भविष्यद्वक्ता की सेवकाई उस समय पर थी जब यरूशलेम पर बाबुल की सेना का घोर आक्रमण हुआ था। यरूशलेम की दशा को देखकर उनके पड़ौसी एदोमियों ने आतातई आक्रमणकारियों को प्रोत्साहित किया और चाहा कि वे यरूशलेम को बरबाद कर दें, सब को मार डालें (भजन १३७:७-९)। और भी दुख देने वाली बात यह थी कि एदोमी इस्त्राएलियों के रिश्तेदार थे। दोनो जातियों के मूल पिता इसहाक की दो सन्तानें थीं, इसाऊ और याकूब। इसाऊ के वंशज एदोमी थे और याकूब के वंशज इस्त्राएली।

   ओबद्याह के द्वारा परमेश्वर ने एदोमियों की, उनके इस रवैये के लिए, भर्त्सना करी। परमेश्वर ने कहलवाया: "परन्तु तुझे उचित न था कि तू अपने भाई के दिन में, अर्थात उसकी विपत्ति के दिन में उसकी ओर देखता रहता, और यहूदियों के नाश होने के दिन उनके ऊपर आनन्द करता, और उनके संकट के दिन बड़ा बोल बोलता" (ओबद्याह १:१२)।

   यदि कोई बार बार हमारी हानि के प्रयास करता रहा है तो उसके किसी दुखदायी स्थिति में पड़ने पर, उससे बदला चुकाए जाने की भावना जैसी संतुष्टि होना स्वाभाविक प्रतिक्रीया समझी जाती है। किंतु परमेश्वर का वचन हमें ऐसी भावना के विरुद्ध सचेत करता है: "जब तेरा शत्रु गिर जाए तब तू आनन्दित न हो, और जब वह ठोकर खाए, तब तेरा मन मगन न हो" (नीतिवचन २४:१७)। इसके विपरीत हमें सहानुभूति और क्षमा का रवैया रखना चाहिए, और न्याय तथा दण्ड को परमेश्वर के हाथों में छोड़ देना चाहिए। - डेनिस फिशर


अपने सबसे बुरे दुश्मन के प्रति दिखाया गया हमारा प्रेम, परमेश्वर के प्रति हमारे प्रेम का सही नाप है।
जब तेरा शत्रु गिर जाए तब तू आनन्दित न हो, और जब वह ठोकर खाए, तब तेरा मन मगन न हो। - नीतिवचन २४:१७
 
बाइबल पाठ: रोमियों १२:१२-२१
Rom 12:12  आशा मे आनन्‍दित रहो, क्‍लेष मे स्थिर रहो, प्रार्थना मे नित्य लगे रहो।
Rom 12:13   पवित्र लोगों को जो कुछ अवश्य हो, उस में उन की सहायता करो; पहुनाई करने मे लगे रहो।
Rom 12:14   अपने सताने वालों को आशीष दो; आशीष दो श्राप न दो।
Rom 12:15  आनन्‍द करने वालों के साथ आनन्‍द करो, और रोने वालों के साथ रोओ।
Rom 12:16  आपस में एक सा मन रखो, अभिमानी न हो, परन्‍तु दीनों के साथ संगति रखो; अपनी दृष्‍टि में बुद्धिमान न हो।
Rom 12:17  बुराई के बदले किसी से बुराई न करो, जो बातें सब लोगों के निकट भली हैं, उन की चिन्‍ता किया करो।
Rom 12:18  जहां तक हो सके, तुम अपने भरसक सब मनुष्यों के साथ मेल मिलाप रखो।
Rom 12:19  हे प्रियो अपना पलटा न लेना, परन्‍तु क्रोध को अवसर दो, क्‍योंकि लिखा है, पलटा लेना मेरा काम है, प्रभु कहता है मैं ही बदला दूंगा।
Rom 12:20  परन्‍तु यदि तेरा बैरी भूखा हो तो उसे खाना खिला, यदि प्यासा हो, तो उसे पानी पिला, क्‍योंकि ऐसा करने से तू उसके सिर पर आग के अंगारों का ढेर लगाएगा।
Rom 12:21  बुराई से न हारो परन्‍तु भलाई से बुराई का जीत लो।
एक साल में बाइबल: 
  • १ शमूएल १५-१६ 
  • लूका १०:२५-४२

सोमवार, 9 अप्रैल 2012

सामर्थी भुजाएं

   क्या आपने कभी स्वपन में देखा है कि आप किसी ऊँचाई से या पलंग से गिर रहे हैं, और इससे घबरा कर आप उठ बैठे हों, किंतु अपने आप को सुरक्षित अपने बिसतर पर ही पाया। लड़कपन में मेरे साथ ऐसा बहुत बार हुआ है और फिर मैं भयभीत बैठा रहता था।

   मैंने एक व्यक्ति के बारे में सुना है जिसे सोने के कुछ समय पश्चात ही ऐसा अनुभव होता था। उसे लगता था कि वह मरने पर है और एक अंतहीन के गढ़हे में गिरता ही जा रहा है। वह इस गिरने के एहसास से इतना भयभीत हो जाता था कि फिर उसके लिए सो पाना कठिन हो जाता था।

   एक संध्या जब वह व्यक्ति घूमने निकला, उसका मार्ग एक कब्रिस्तान से होकर निकला। वहां उसने एक कब्र के पत्थर पर खुदा हुआ पढ़ा, "संभालने को सनातन भुजाएं हैं"। यह पढ़ने के बाद उसे अत्यंत शांति मिली क्योंकि उसे चेत आया कि मसीही विश्वासी होने के नाते उसे डरने की कोई आवश्यक्ता नहीं है; मृत्यु के बाद प्रभु अपने लोगों को अपनी भुजाओं में लेकर उन्हें उनके स्वर्गीय घर में ले जाता है। उसे भजनकार का आश्वासन स्मरण हो आया, "चाहे मैं घोर अन्धकार से भरी हुई तराई में होकर चलूं, तौभी हानि से न डरूंगा, क्योंकि तू मेरे साथ रहता है; तेरे सोंटे और तेरी लाठी से मुझे शान्ति मिलती है" (भजन २३:४)।

   अनजाने भविष्य और मृत्यु के भय से ग्रसित उस व्यक्ति ने तसल्ली पाई, भय से छुटकारा पाया क्योंकि अब वह आश्वस्त था कि चाहे सोते या जागते, जीवन में या जीवनोपरांत, वह अपने प्रभु की सनातन सामर्थी भुजाओं में सर्वदा सुरक्षित है। उस प्रेमी प्रभु परमेश्वर की भुजाओं से उसे कोई छीन नहीं सकता, गिरा नहीं सकता और उनके होते हुए कोई उसका कुछ भी नुकसान नहीं कर सकता। उस रात उसने अपने बचपन में सीखा हुआ एक गीत गाया: "मुझे ऐसे जीवन जीना सिखा कि मैं कब्र के प्रति अपनी आशंकाओं को, प्रतिदिन अपने बिस्तर में जाने की आशंकाओं से भी कमतर समझूँ।" अनन्तः वह बिना किसी भय के सो सका।

   प्रभु यीशु की सामर्थी भुजाएं आपके लिए भी खुली हैं, अपने हर भय को उसे सौंप दीजिए और उसकी सनातन भुजाओं की सुरक्षा को अपना लीजिए। - एम.आर. डी हॉन


अन्धेरा हो या उजियाला, आप परमेश्वर पर सदा भरोसा रख सकते हैं।
 
अनादि परमेश्वर तेरा गृहधाम है, और नीचे सनातन भुजाएं हैं। - व्यवस्थाविवरण ३३:२७
 
बाइबल पाठ: भजन ४६
Psa 46:1  परमेश्वर हमारा शरणस्थान और बल है, संकट में अति सहज से मिलने वाला सहायक।
Psa 46:2  इस कारण हम को कोई भय नहीं चाहे पृथ्वी उलट जाए, और पहाड़ समुद्र के बीच में डाल दिए जाएं;
Psa 46:3  चाहे समुद्र गरजे और फेन उठाए, और पहाड़ उसकी बाढ़ से कांप उठे।
Psa 46:4  एक नदी है जिसकी नहरों से परमेश्वर के नगर में अर्थात् परमप्रधान के पवित्र निवास भवन में आनन्द होता है।
Psa 46:5  परमेश्वर उस नगर के बीच में है, वह कभी टलने का नहीं; पौ फटते ही परमेश्वर उसकी सहायता करता है।
Psa 46:6  जाति जाति के लोग झल्ला उठे, राज्य राज्य के लोग डगमगाने लगे; वह बोल उठा, और पृथ्वी पिघल गई।
Psa 46:7  सेनाओं का यहोवा हमारे संगे है, याकूब का परमेश्वर हमारा ऊंचा गढ़ है।
Psa 46:8  आओ, यहोवा के महाकर्म देखो, कि उस ने पृथ्वी पर कैसा कैसा उजाड़ किया है।
Psa 46:9  वह पृथ्वी की छोर तक लड़ाइयों को मिटाता है, वह धनुष को तोड़ता, और भाले को दो टुकड़े कर डालता है, और रथों को आग में झोंक देता है!
Psa 46:10  चुप हो जाओ, और जान लो, कि मैं ही परमेश्वर हूं। मैं जातियों में महान् हूं, मैं पृथ्वी भर में महान् हूं!
Psa 46:11  सेनाओं का यहोवा हमारे संग है, याकूब का परमेश्वर हमारा ऊंचा गढ़ है।
 
एक साल में बाइबल: 
  • १ शमूएल १३-१४ 
  • लूका १०:१-२४

रविवार, 8 अप्रैल 2012

अनेक गवाह

   एक ईस्टर इतवार की प्रातः ७:३० बजे, न्यूयॉर्क शहर के उस होटल में बैठा हुआ मैं एकमात्र ग्राहक था। होटल का द्वार खुला, एक व्यक्ति अन्दर आया, मुझे बैठा हुआ देखकर मेरी मेज़ के निकट आया, मुझे संबोधित करते हुए उसने कहा, "नमस्कार, प्रभु आपको आशीष दे", फिर मेरे सामने एक सुसमाचार लेख का पर्चा रखा और चला गया। मैं मुस्कुराया, उसकी इस गवाही की मन ही मन प्रशंसा करी और एहसास किया कि परमेश्वर के गवाह सब स्थानों पर उपस्थित हैं। उस रात्रि को मैं और मेरी बेटी डेबी चर्च में ३०० उत्साहपूर्ण लोगों के साथ आराधना में सम्मिलित हुए जिनमें अधिकांश जवान थे। प्रभु यीशु के प्रति उनके प्रेम और उस प्रेम के कारण अन्य लोगों से भी उनके प्रेम और सहभागिता को देखना, उस आत्मिक अन्धकार से भरे हुए शहर में मानो अन्धेरे में प्रकाश देखने के समान था।

   प्रथम ईस्वीं में प्रेरित पौलुस यूनान के कुरिन्थुस शहर आया, जो अपनी अनैतिकता, भ्रष्टाचार और वहां के समाज में व्याप्त व्यभिचार के लिए जाना जाता था। जब वहां पौलुस ने प्रभु यीशु के सुसमाचार का प्रचार करने का प्रयास किया तो उसका बहुत विरोध हुआ। किंतु प्रभु ने उसे दर्शन देकर उससे प्रचार करते रहने को कहा, और प्रभु की सामर्थ से पौलुस उस पाप और आत्मिक अन्धकार से भरे शहर में डेढ़ वर्ष तक प्रचार करता रहा: "और प्रभु ने रात को दर्शन के द्वारा पौलुस से कहा, मत डर, वरन कहे जा, और चुप मत रह। क्‍योंकि मैं तेरे साथ हूं: और कोई तुझ पर चढ़ाई करके तेरी हानि न करेगा; क्‍योंकि इस नगर में मेरे बहुत से लोग हैं। सो वह उन में परमेश्वर का वचन सिखाते हुए डेढ़ वर्ष तक रहा" (प्रेरितों १८:९-११)।

   हम चाहे कहीं भी जाएं, परमेश्वर के लोग सब जगह विद्यमान हैं, और उनमें होकर प्रभु यीशु की सामर्थी उपस्थिति भी विद्यमान है। आप जहां हैं, प्रभु यीशु के गवाह वहां भी उपस्थित हैं, उनका पता कीजिए और उनके साथ संगति कीजिए। आप को जहां प्रभु यीशु ने रखा है वहीं प्रभु यीशु के गवाह भी बनिए और सुसमाचार का प्रचार कीजिए। - डेविड मैक्कैसलैंड


आप जहां हैं, वहीं प्रभु यीशु के अनेक गवाह भी हैं।
क्‍योंकि इस नगर में मेरे बहुत से लोग हैं। - प्रेरितों १८:१०
 
बाइबल पाठ: प्रेरितों १८:१-११
Act 18:1  इस के बाद पौलुस अथेने को छोड़कर कुरिन्थुस में आया।
Act 18:2  और वहां अक्‍विला नाम एक यहूदी मिला, जिस का जन्म पुन्‍तुस का था और अपनी पत्‍नी प्रिस्‍किल्ला समेत इतालिया से नया आया था, क्‍योंकि क्‍लौदियुस ने सब यहूदियों को रोम से निकल जाने की आज्ञा दी थी, सो वह उन के यहां गया।
Act 18:3  और उसका और उन का एक ही उद्यम था इसलिथे वह उन के साथ रहा, और वे काम करने लगे, और उन का उद्यम तम्बू बनाने का था।
Act 18:4 और वह हर एक सब्‍त के दिन आराधनालय में वाद-विवाद करके यहूदियों और यूनानियों को भी समझाता था।
Act 18:5  जब सीलास और तीमुथियुस मकिदुनिया से आए, तो पौलुस वचन सुनाने की धुन में लगकर यहूदियों को गवाही देता था कि यीशु ही मसीह है।
Act 18:6 परन्‍तु जब वे विरोध और निन्‍दा करने लगे, तो उस ने अपने कपड़े झाड़कर उन से कहा, तुम्हारा लोहू तुम्हारी गर्दन पर रहे: मैं निर्दोष हूं: अब से मैं अन्यजातियों के पास जाऊंगा।
Act 18:7 और वहां से चलकर वह तितुस युस्‍तुस नाम परमेश्वर के एक भक्त के घर में आया, जिस का घर आराधनालय से लगा हुआ था।
Act 18:8 तब आराधनालय के सरदार क्रिस्‍पुस ने अपने सारे घराने समेत प्रभु पर विश्वास किया, और बहुत से कुरिन्थी सुनकर विश्वास लाए और बपतिस्मा लिया।
Act 18:9  और प्रभु ने रात को दर्शन के द्वारा पौलुस से कहा, मत डर, वरन कहे जा, और चुप मत रह।
Act 18:10 क्‍योंकि मैं तेरे साथ हूं: और कोई तुझ पर चढ़ाई कर के तेरी हानि न करेगा; क्‍योंकि इस नगर में मेरे बहुत से लोग हैं।
Act 18:11  सो वह उन में परमेश्वर का वचन सिखाते हुए डेढ़ वर्ष तक रहा।

एक साल में बाइबल: 
  • १ शमूएल १०-१२ 
  • लूका ९:३७-६२