बॉक्सिंग के दिग्गज मुहम्मद अली अपने प्रतिपक्षी को पराजित करने के लिए कई युक्त्तियों का प्रयोग करता था; जिनमें से एक थी ताने मारना या निन्दा करना। जॉर्ज फोरमैन के साथ 1974 में हुए अपने मुकाबले में अली ने फोरमैन को ताने मारे, "जरा ज़ोर से मारो! मुझे कुछ करके तो दिखाओ, जॉर्ज। इससे तो कोई चोट नहीं पहुँची; मैंने सुना था कि तुम बहुत ज़ोरावर हो।" अली की इन बातों को सुनकर फोरमैन क्रोधावेश में आकर इधर-उधर अपने मुक्के चलाता रहा, अपनी ताकत गँवाता रहा, और उसका आत्मविश्वास कम होता चला गया।
तानों और निन्दा द्वारा इस प्रकार कमज़ोर करना शैतान द्वारा परमेश्वर के लोगों के विरुद्ध प्रयोग किए जाने वाला एक पुराना हथियार भी है। परमेश्वर के वचन बाइबल में हम देखते हैं कि यरुशालेम की टूटी हुई दीवार को पुनः बनाने के लिए नेहम्याह द्वारा किए जाने वाले प्रयासों का तोबियाह ने यह कहकर उपहास किया कि यदि गीदड़ भी उस बनाई जाने वाली दीवार पर चढ़ गए तो वह टूट जाएगी (नहेम्याह 4:3)। तोबियाह निराश कर देने वाले कटु शब्दों के द्वारा उन्हें कमज़ोर कर देना चाह रहा था। यही बात गोलियत ने दाऊद पर भी आज़माई जब दाऊद उसे मारने के लिए आगे बढ़ा; गोलियत ने दाऊद के लड़कपन का और उसके गोफन तथा पत्थर लेकर उसके साथ युद्ध करने आने का मज़ाक उड़ाया (1 शमूएल 17:41-44)।
उपहास या निराश करने वाली टिप्पणी घातक हथियार हो सकती है। परन्तु ना ही नहेमयाह ने तोबियाह की बात पर कोई ध्यान दिया, और ना ही दाऊद ने गोलियत के उपहास को गंभीरता से लिया। दोनों ने ही अपने प्रतिद्वन्दियों की बातों की बजाए परमेश्वर और उसके वायदों पर अपना ध्यान केंद्रित रखा, और परमेश्वर पर भरोसा रखने के द्वारा अपने विरोधियों पर प्रबल तथा जयवन्त हुए।
ताने मारना, निन्दा करना किसी के द्वारा भी आ सकता है। उन लोगों की बातों पर ध्यान करके उसका प्रत्युत्तर देने के प्रयास हमारे बल को क्षीण कर सकते हैं; परन्तु परमेश्वर अपने वायदों, अपने वचन के द्वारा हमें प्रोत्साहित करता है। उसने हम से वायदा किया है कि वह हमें ना तो कभी छोड़ेगा और ना हि कभी त्यागेगा (भजन 9:10; इब्रानियों 13:5), और वह चाहता है कि हम सदा उस पर निर्भर होकर चलते रहें: "इसलिये आओ, हम अनुग्रह के सिंहासन के निकट हियाव बान्धकर चलें, कि हम पर दया हो, और वह अनुग्रह पाएं, जो आवश्यकता के समय हमारी सहायता करे" (इब्रानियों 4:16)। - लॉरेंस दरमानी
यदि आप निराशा की सुरंग में हैं तो ज्योति की ओर चलते रहें।
वह थके हुए को बल देता है और शक्तिहीन को बहुत सामर्थ देता है। तरूण तो थकते और श्रमित हो जाते हैं, और जवान ठोकर खाकर गिरते हैं; परन्तु जो यहोवा की बाट जोहते हैं, वे नया बल प्राप्त करते जाएंगे, वे उकाबों की नाईं उड़ेंगे, वे दौड़ेंगे और श्रमित न होंगे, चलेंगे और थकित न होंगे। - यशायाह 40:29-31
बाइबल पाठ: नहेम्याह 4:1-9
Nehemiah 4:1 जब सम्बल्लत ने सुना कि यहूदी लोग शहरपनाह को बना रहे हैं, तब उसने बुरा माना, और बहुत रिसियाकर यहूदियों को ठट्ठों में उड़ाने लगा।
Nehemiah 4:2 वह अपने भाइयों के और शोमरोन की सेना के साम्हने यों कहने लगा, वे निर्बल यहूदी क्या किया चाहते हैं? क्या वे वह काम अपने बल से करेंगे? क्या वे अपना स्थान दृढ़ करेंगे? क्या वे यज्ञ करेंगे? क्या वे आज ही सब काम निपटा डालेंगे? क्या वे मिट्टी के ढेरों में के जले हुए पत्थरों को फिर नये सिरे से बनाएंगे?
Nehemiah 4:3 उसके पास तो अम्मोनी तोबियाह था, और वह कहने लगा, जो कुछ वे बना रहे हैं, यदि कोई गीदड़ भी उस पर चढ़े, तो वह उनकी बनाई हुई पत्थर की शहरपनाह को तोड़ देगा।
Nehemiah 4:4 हे हमारे परमेश्वर सुन ले, कि हमारा अपमान हो रहा है; और उनका किया हुआ अपमान उन्हीं के सिर पर लौटा दे, और उन्हें बन्धुआई के देश में लुटवा दे।
Nehemiah 4:5 और उनका अधर्म तू न ढांप, और न उनका पाप तेरे सम्मुख से मिटाया जाए; क्योंकि उन्होंने तुझे शहरपनाह बनाने वालों के साम्हने क्रोध दिलाया है।
Nehemiah 4:6 और हम लोगों ने शहरपनाह को बनाया; और सारी शहरपनाह आधी ऊंचाई तक जुड़ गई। क्योंकि लोगों का मन उस काम में नित लगा रहा।
Nehemiah 4:7 जब सम्बल्लत और तोबियाह और अरबियों, अम्मोनियों और अशदोदियों ने सुना, कि यरूशलेम की शहरपनाह की मरम्मत होती जाती है, और उस में के नाके बन्द होने लगे हैं, तब उन्होंने बहुत ही बुरा माना;
Nehemiah 4:8 और सभों ने एक मन से गोष्ठी की, कि जा कर यरूशलेम से लड़ें, और उस में गड़बड़ी डालें।
Nehemiah 4:9 परन्तु हम लोगों ने अपने परमेश्वर से प्रार्थना की, और उनके डर के मारे उनके विरुद्ध दिन रात के पहरुए ठहरा दिए।
एक साल में बाइबल:
- गिनती 26-27
- मरकुस 8:1-21
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें