परमेश्वर के वचन बाइबल की एक घटना है: इस्त्राएल और फिलिस्तियों में युद्ध ठना हुआ था। जब इस्त्राएल का राजा शाउल अपनी सेना के लोगों के साथ पेड़ के नीचे आराम कर रहा था तो उसका पुत्र योनातान अपने हथियार ढोने वाले साथी के साथ चुपचाप से निकल पड़ा, इस विश्वास से कि "...आ, हम उन खतनारहित लोगों की चौकी के पास जाएं; क्या जाने यहोवा हमारी सहायता करे; क्योंकि यहोवा को कुछ रोक नहीं, कि चाहे तो बहुत लोगों के द्वारा चाहे थोड़े लोगों के द्वारा छुटकारा दे" (1 शमूएल 14:6)।
योनातान और उसका साथी हथियार वाहक एक ऐसी घाटी से होकर जाने को थे जिसके दोनों ओर एक एक चट्टान थी और चट्टान के पार ना जाने कितने पलिश्ती थे। जब योनातान ने कहा कि चल हम वहाँ चलें तो उसके हथियार वाहक साथी ने बिना हिचकिचाए कहा, "...जो कुछ तेरे मन में हो वही कर; उधर चल, मैं तेरी इच्छा के अनुसार तेरे संग रहूंगा" (1 शमूएल 14:7)। तब वे दोनों उन चट्टानों पर चढ़कर दूसरी ओर आ गए और परमेश्वर की सहायता से शत्रु फिलिस्तियों पर जयवंत हुए (पद 8-14)। हमें योनातान के उस जवान हथियार वाहक साथी की दाद देनी होगी, जिसने उसके हथियार भी ढोए और उसके साथ भी बना रहा, और जिन जिन फिलिस्तियों को योनातान घायल करता जा रहा था, वह जवान उन्हें घात भी करता जा रहा था।
आज शैतान की युक्तियों, षड़यंत्रों और सेनाओं का सामना करने और उन्हें परास्त करने के लिए भी योनातान के समान परमेश्वर पर विश्वास करके, जोखिम उठाकर कार्य करने वाले योद्धा चाहिएं लेकिन साथ ही उस हथियार वाहक जवान के समान उन योद्धाओं की सहायता करने और उनके साथ बने रहने वाले साथी भी चाहिएं। क्या आप ऐसे साथी बनकर किसी मसीही विश्वासी के साथ खड़े होने को तैयार हैं? क्या आप योनातान के समान विश्वास में आगे बढ़कर परमेश्वर के लिए अन्धकार की सेनाओं के साथ युद्ध करने निकलने को तैयार हैं? - डेव एग्नर
अगुवे सर्वश्रेष्ठ अगुवाई तभी कर सकते हैं जब लोग उनके साथ खड़े होने को तैयार हों।
उसके हथियार ढोने वाले ने उस से कहा, जो कुछ तेरे मन में हो वही कर; उधर चल, मैं तेरी इच्छा के अनुसार तेरे संग रहूंगा। - 1 शमूएल 14:7
बाइबल पाठ: 1 शमूएल 14:1-14
1 Samuel 14:1 एक दिन शाऊल के पुत्र योनातान ने अपने पिता से बिना कुछ कहे अपने हथियार ढोने वाले जवान से कहा, आ, हम उधर पलिश्तियों की चौकी के पास चलें।
1 Samuel 14:2 शाऊल तो गिबा के सिरे पर मिग्रोन में के अनार के पेड़ के तले टिका हुआ था, और उसके संग के लोग कोई छ: सौ थे;
1 Samuel 14:3 और एली जो शीलो में यहोवा का याजक था, उसके पुत्र पिनहास का पोता, और ईकाबोद के भाई, अहीतूब का पुत्र अहिय्याह भी एपोद पहिने हुए संग था। परन्तु उन लोगों को मालूम न था कि योनातान चला गया है।
1 Samuel 14:4 उन घाटियों के बीच में, जिन से हो कर योनातान पलिश्तियों की चौकी को जाना चाहता था, दोनों अलंगों पर एक एक नोकीली चट्टान थी; एक चट्टान का नाम तो बोसेस, और दूसरी का नाम सेने था।
1 Samuel 14:5 एक चट्टान तो उत्तर की ओर मिकमाश के साम्हने, और दूसरी दक्खिन की ओर गेबा के साम्हने खड़ी है।
1 Samuel 14:6 तब योनातान ने अपने हथियार ढोने वाले जवान से कहा, आ, हम उन खतनारहित लोगों की चौकी के पास जाएं; क्या जाने यहोवा हमारी सहायता करे; क्योंकि यहोवा को कुछ रोक नहीं, कि चाहे तो बहुत लोगों के द्वारा चाहे थोड़े लोगों के द्वारा छुटकारा दे।
1 Samuel 14:7 उसके हथियार ढोने वाले ने उस से कहा, जो कुछ तेरे मन में हो वही कर; उधर चल, मैं तेरी इच्छा के अनुसार तेरे संग रहूंगा।
1 Samuel 14:8 योनातान ने कहा, सुन, हम उन मनुष्यों के पास जा कर अपने को उन्हें दिखाएं।
1 Samuel 14:9 यदि वे हम से यों कहें, हमारे आने तक ठहरे रहो, तब तो हम उसी स्थान पर खड़े रहें, और उनके पास न चढ़ें।
1 Samuel 14:10 परन्तु यदि वे यह कहें, कि हमारे पास चढ़ आओ, तो हम यह जानकर चढ़ें, कि यहोवा उन्हें हमारे साथ कर देगा। हमारे लिये यही चिन्ह हो।
1 Samuel 14:11 तब उन दोनों ने अपने को पलिश्तियों की चौकी पर प्रगट किया, तब पलिश्ती कहने लगे, देखो, इब्री लोग उन बिलों में से जहां वे छिप रहे थे निकले आते हैं।
1 Samuel 14:12 फिर चौकी के लोगों ने योनातान और उसके हथियार ढोन वाले से पुकार के कहा, हमारे पास चढ़ आओ, तब हम तुम को कुछ सिखाएंगे। तब योनातान ने अपने हथियार ढोन वाले से कहा मेरे पीछे पीछे चढ़ आ; क्योंकि यहोवा उन्हें इस्राएलियों के हाथ में कर देगा।
1 Samuel 14:13 और योनातान अपने हाथों और पावों के बल चढ़ गया, और उसका हथियार ढोने वाला भी उसके पीछे पीछे चढ़ गया। और पलिश्ती योनातान के साम्हने गिरते गए, और उसका हथियार ढोने वाला उसके पीछे पीछे उन्हें मारता गया।
1 Samuel 14:14 यह पहिला संहार जो योनातान और उसके हथियार ढोने वाले से हुआ, उस में आधे बीघे भूमि में बीस एक पुरूष मारे गए।
एक साल में बाइबल:
- नीतिवचन 25-26
- 2 कुरिन्थियों 9
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें